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Tuesday, August 11, 2020

पुलिस कस्‍टडी में दम तोड़ने वाले नाबालिग प्रेमिका को भगाने के आराेपी युवक का 55 घंटे बाद हुआ अंतिम संस्‍कार

पुलिस कस्‍टडी में दम तोड़ने वाले नाबालिग प्रेमिका को भगाने के आराेपी युवक का 55 घंटे बाद हुआ अंतिम संस्‍कार

हिसार के अगोहा थाने में खड़ी पुलिस की गाड़ी। पुलिस पर एक युवक की कस्टडी में मौत का मामला कई दिन से गहराया हुआ है।

गुरुवार को मय्यड़ गांव का युवक नाबालिग लड़की को उसके ननिहाल से भगाकर घर ले आया था

लड़की की गुमशुदगी की रिपोर्ट के बाद पुलिस ने कस्टी में ले लिया था, थाने की बजाय ले जाना पड़ा मेडिकल कॉलेज

हिसार : हिसार में प्रेमिका संग भागे और फिर पुलिस कस्‍टडी में जहर खाकर जान देने वाले गांव मय्यड़ निवासी युवक का मौत के 55 घंटे बाद अंतिम संस्‍कार किया गया। मंगलवार दोपहर बाद परिजन युवक के शव को अग्रोहा मेडिकल कॉलेज से ले गए और संस्‍कार किया गया। इस दौरान पुलिस भी मौजूद रही। बीते दो दिन से मृतक के परिजन मांगों को लेकर धरने पर डटे हुए थे, सोमवार रात तक भी परिजन नहीं माने थे, मगर फिर एसपी से बात होने के बाद परिजनों को जब पुख्‍ता आश्‍वासन मिला तो परिजन संस्‍कार करने के लिए मान गए।
मिली जानकारी के अनुसार मय्यड़ का 21 वर्षीय युवक गुरुवार को नाबालिग प्रेमिका को उसके ननिहाल से भगाकर अपने घर ले आया था। नाबालिगा की गुमशुदगी संबंधी शिकायत मिलने पर अग्रोहा पुलिस ने उन्हें मय्यड़ से बरामद कर लिया था। किशोरी को परिजनों को सौंपने के बाद युवक को हिरासत में लेकर पुलिस अग्रोहा थाने में लेकर आ रही थी। रास्ते में युवक की तबीयत बिगडऩा शुरू हो गई। पुलिस उसे मेडिकल कॉलेज में ले गई। वहां तीन के बाद रविवार को युवक ने दम तोड़ दिया। युवक के स्वजनों ने पुलिस व लड़की के परिवार के सदस्यों पर हिरासत में लेने के बाद युवक को जहरीला पदार्थ देकर मारने का आरोप लगाया था। अग्रोहा थाना प्रभारी गुरमीत सिंह ने बताया कि मृतक युवक के परिजनों की मांग के अनुसार आरोपी पुलिस कर्मियों और नाबालिग युवती के परिजनों के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है। वहीं एससी-एसटी एक्‍ट की धारा भी लगाई गई है। इसके साथ प्रशासन की तरफ से मृतक के परिजनों को मुआवजा राशि देने का भी आश्‍वासन दिया है। ग्रामीणों व मृतक के स्वजनों ने प्रशासन को मंगलवार सुबह 9 बजे तक का समय दिया। ग्रामीणों ने चेतावनी दी है कि तय समय तक उनकी मांगें नहीं मानी गई तो वह मंगलवार से डीसी कार्यालय के सामने धरना देंगे। देर शाम तक मामले को लेकर अफसरों की उच्चाधिकारियों से वार्ता हुई, लेकिन कोई परिणाम नहीं निकला। वहीं ग्रामीणों ने प्रशासन से दो-दो हाथ करने के लिए एक कमेटी का गठन किया है। इसके बाद देर रात परिजनों से प्रशासन के आला अधिकारियों ने बात की और उन्‍हें मना लिया।

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