Breaking

Showing posts with label agri nwes. Show all posts
Showing posts with label agri nwes. Show all posts

Friday, October 9, 2020

October 09, 2020

कृषि बिलों का विरोध:24 किसान संगठन एक मंच पर जुटे, देशभर में 3 नवंबर को रोकेंगे हाईवे, कुरुक्षेत्र में देशभर के संगठनों की बैठक में फैसला

कृषि बिलों का विरोध:24 किसान संगठन एक मंच पर जुटे, देशभर में 3 नवंबर को रोकेंगे हाईवे, कुरुक्षेत्र में देशभर के संगठनों की बैठक में फैसला

कुरुक्षेत्र : केंद्र सरकार द्वारा पारित तीन कृषि कानूनों के खिलाफ किसान संगठन फिर लामबंद होने लगे हैं। किसान संगठनों के साथ विभिन्न व्यापारी व मजदूर संगठन भी इन बिजलों के खिलाफ साथ आ गए हैं। किसानों ने अब देशभर में आंदोलन को फैलाने की तैयारी की है। यही नहीं 3 नवंबर को देशभर में हाईवे जाम करने का ऐलान किया है। गुरुवार को कुरुक्षेत्र की कंबोज धर्मशाला में भाकियू समेत विभिन्न संगठनों की मीटिंग हुई।
वहीं शुक्रवार को पंजाब में भी मीटिंग होगी, जिसमें आंदोलन की रूपरेखा तय की जाएगी। कुरुक्षेत्र की मीटिंग देशभर के 24 किसान संगठनों के पदाधिकारियों ने हिस्सा लिया। गुरुवार देर शाम तक मीटिंग में सभी ने एकसुर में कृषि बिलों का विरोध किया। मीटिंग की अध्यक्षता भाकियू अध्यक्ष गुरनाम सिंह चढ़ूनी ने की। बताया कि इस मीटिंग में फैसला लिया कि किसान आंदोलन को देशव्यापी बनाया जाएगा, इसीलिए गुरुवार को मीटिंग में विभिन्न राज्यों से अलग-अलग संगठनों के पदाधिकारी पहुंचे। न केवल किसान, बल्कि किसानों व मजदूरों से जुड़े कई संगठन आंदोलन में शामिल होंगे।
3 नवंबर को पूरे देश में चक्का जाम किया जाएगा। भारतीय किसान संघर्ष समिति के राष्ट्रीय अध्यक्ष वीएम सिंह ने कहा कि सुबह 10 से शाम 4 बजे तक देशभर में हाईवे जाम रखे जाएंगे। साथ ही आंदोलन को आगे बढ़ाने के लिए शुक्रवार को पंजाब में बैठक बुलाई गई है, जिसमें तीन नवंबर के बाद आंदोलन की पूरी रूपरेखा बनाई जाएगी।
शिअद का मिला साथ
मीटिंग में शिअद प्रदेशाध्यक्ष शरणजीत सौथा व अन्य पदाधिकारी भी पहुंचे। कृषि अध्यादेशों के खिलाफ भाकियू को पूरा समर्थन देने और हर आंदोलन में शिअद की भागीदारी का ऐलान किया। साथ ही समर्थन जताने के लिए बाकायदा भाकियू को पत्र भी सौंपा।

संत गोपालदास समेत बैठक में इन संगठनों ने दिया समर्थन

बैठक में भाकियू से गुरनाम चढ़ूनी, संत गोपालदास, ग्रामीण किसान मजदूर समिति के संयोजक रणजीत सिंह राजू, किसान यूनियन शामली के राष्ट्रीय अध्यक्ष साबित मलिक, किसान कामगार महासभा के संयोजक विरेंद्र सिंह भारत, हरियाणा किसान संघर्ष समिति फरीदाबाद के अध्यक्ष डीके शर्मा, भारतीय किसान मजदूर यूनियन पलवल के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष केपी सिंह, किसान अधिकार आंदोलन उत्तरप्रदेश के संयोजक नरेंद्र राणा, कानपुर से सतीश चौरसिया, भारतीय किसान हरियाणा के राष्ट्रीय सलाहकार अजीत सिंह हाबड़ी, भाकियू अमरोहा के राष्ट्रीय अध्यक्ष सुरेंद्र सिंह, रमनदीप मान, दीवान सिंह, होशियार सिंह, किसान सैल प्रधान सिरसा गुरदास सिंह, जसबीर सिंह भाटी सिरसा, अशोक दनौदा, मध्यप्रदेश से राजकुमार, अखिल भारतीय किसान के राज्य अध्यक्ष गुरभजन सिंह, टोल हटाओ संघर्ष समिति के राष्ट्रीय अध्यक्ष विरेंद्र हुड्डा, किसान महापंचायत जयपुर के राष्ट्रीय अध्यक्ष रामपाल जाट, घासीराम नैन भाकियू के प्रदेश महासचिव जियालाल, व्यवस्था परिवर्तन अभियान के राष्ट्रीय अध्यक्ष स्वामी राजेश्वर मुनी, भाकियू लोकतांत्रिक के यूपी प्रदेश अध्यक्ष राकेश चौहान समेत अन्य संगठनों के लोग पहुंचे।

Tuesday, October 6, 2020

October 06, 2020

हरियाणा के आढ़तियों की चमकी किस्मत

हरियाणा के आढ़तियों की चमकी किस्मत

चंडीगढ़ : हालिया समय में केंद्र सरकार तीन विषयों पर कृषि अध्यादेश लेकर आई है जिन्हें राष्ट्रपति की मंजूरी भी मिल चुकी है। ये तीनों अध्यादेश भारत के करोड़ों किसान और आढ़तियों के परिवारों के भविष्य से जुड़े हुए हैं। जिसको लेकर किसानो और आढ़तियों ने धरना प्रदर्शन भी किए। तो वही दूसरी तरफ हरियाणा के हजारों आढ़तियों की बल्ले-बल्ले हो गई है। दरअसल गेहूं की फसल के लस्टर लॉस के नाम पर खरीद एजेंसियों द्वारा आढ़तियों से वूसली गई करोड़ों रूपये की राशि अब वापस उनके खातों में पहुंच गई है। बतादे कि आढ़तियों की मांग की थी उनके खाते से लस्टर लॉस की राशि न काटी जाए बल्कि सरकार स्वयं इस लॉस को वहन करें। द फूड ग्रेन डीलर एसोसिएशन, उचाना के पदाधिकारियों, सदस्यों सहित अन्य आढ़ती एसोसिएशन ने सितंबर माह में चंडीगढ़ में उपमुख्यमंत्री से मिलकर लस्टर लॉस की रकम वापस करने की मांग की थी। उचाना एसोसिएशन के प्रधान विरेंद्र उचाना ने कहा कि लास्टर लॉस कटने से प्रदेश के आढ़तियों की जेब पर आर्थिक बोझ पड़ रहा है। उनका कहना था कि प्रदेशभर के हजारों आढ़तियों के खातों से करोड़ों रूपये की राशि हैफेड, फूड कारपोरेशन आफ इंडिया, हरियाणा वेयर हाउस कारपोरेशन द्वारा वसूली गई थी। गौरतलब है कि प्रदेश में विभिन्न एजेंसियों द्वारा की गई गेहूं की सरकारी खरीद में खरीद एजेसियों ने लस्टर लॉस के रूप में लस्टर 9 रुपए 62 पैसे प्रति क्विंटल की दर से राशि काट ली थी। प्रदेशभर में लस्टर लॉस की दर क्षेत्रवार भिन्न-भिन्न थी। लस्टर लॉस का आर्थिक बोझ प्रदेश के हजारों आढ़तियों की जेब पर पड़ा था। बतादे कि खाद्य एवं आपूर्ति विभाग का जिम्मा संभाल रहे उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला ने इस मांग को पूरा करने को लेकर आढ़तियों को लेकर आश्वस्त किया था। आढ़तियों की अब यह मांग पूरी हो गई है और अधिकांश आढ़तियों के लस्टर लॉस की राशि उनके खातों में यह पहुंच गई है, जिससे प्रदेश के हजारों आढ़तियों को लस्टर लॉस का नुकसान नहीं झेलना पड़ेगा। प्रदेश सरकार के इस फैसले से प्रदेशभर के करीब 22 हजार गेहूं खरीददारों को करीबन 50 करोड़ रूपये की लस्टर लॉस की राशि उनके खातों में पहुंची है। इसके साथ ही आढ़तियों की लस्टर लॉस की वापसी की प्रमुख मांग पूरी हो गई है। इसके लिए आढ़ती एसोसिएशन ने डिप्टी सीएम दुष्यंत चौटाला का आभार व्यक्त किया है। लस्टर लॉस की यह राशि सरकार स्वयं वहन करेगी।