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Sunday, August 23, 2020

मौसम:2010 के बाद अगस्त में सामान्य से अधिक बरसात, मॉनसून वापसी के संकेत नहीं

माॅनसून की सक्रियता भले ही अगले 48 घंटे कमजोर रहने वाली है, लेकिन अगस्त में सामान्य से 7 फीसदी अधिक बरसात हो चुकी है। वर्ष 2010 के बाद यह पहली बार हुआ है। जब अगस्त में सामान्य से ज्यादा बरसात दर्ज की गई है। एक से 22 अगस्त तक हरियाणा में 127.2 एमएम बरसात हो चुकी है, जबकि सामान्य 118.5 एमएम होती है।

वर्ष 2010 में प्रदेश में अगस्त में 180.6 एमएम बरसात हुई थी, यह सामान्य से 10.3 फीसदी अधिक थी। इसके बाद अब 2020 में बरसात सामान्य से अधिक हुई है। इधर, मौसम वैज्ञानिकों ने 28 अगस्त से माॅनसून की बरसातों के अच्छे दौर की संभावना जताई है। इस स्पैल में भी खूब बरसात हो सकती हैं। हालांकि माॅनसून की सक्रियता फिलहाल कमजोर है।

मौसम:2010 के बाद अगस्त में सामान्य से अधिक बरसात, मॉनसून वापसी के संकेत नहीं

चार एंटी साइक्लोन के बावजूद मेहरबान, 28 से फिर बरसातों का अच्छा दौर, 25 से बढ़ेगी जाएगी सक्रियता, सितंबर से भी उम्मीद
माॅनसून की सक्रियता भले ही अगले 48 घंटे कमजोर रहने वाली है, लेकिन अगस्त में सामान्य से 7 फीसदी अधिक बरसात हो चुकी है। वर्ष 2010 के बाद यह पहली बार हुआ है। जब अगस्त में सामान्य से ज्यादा बरसात दर्ज की गई है। एक से 22 अगस्त तक हरियाणा में 127.2 एमएम बरसात हो चुकी है, जबकि सामान्य 118.5 एमएम होती है।

वर्ष 2010 में प्रदेश में अगस्त में 180.6 एमएम बरसात हुई थी, यह सामान्य से 10.3 फीसदी अधिक थी। इसके बाद अब 2020 में बरसात सामान्य से अधिक हुई है। इधर, मौसम वैज्ञानिकों ने 28 अगस्त से माॅनसून की बरसातों के अच्छे दौर की संभावना जताई है। इस स्पैल में भी खूब बरसात हो सकती हैं। हालांकि माॅनसून की सक्रियता फिलहाल कमजोर है और यह 25 अगस्त से फिर सक्रियता पकड़ने लगेगी।

10 साल बाद माॅनसून सामान्य से ज्यादा,मानसून सीजन में भी सामान्य से 6 फीसदी ज्यादा बारिश

प्रदेश में मॉनसून ने भले ही 24 जून को दस्तक दी थी, लेकिन मौसम विभाग एक जून से 30 सितंबर तक की अवधिक को माॅनसून की अवधि मानता है। एक जून से 22 अगस्त तक हरियाणा में 341.0 एमएम बरसात हो चुकी है, जबकि इस अवधि में सामान्य तौर पर 321.3 एमएम बरसात होती है। यानी अब तक हरियाणा में सामान्य से 6 फीसदी अधिक बरसात हुई है।

प्रदेश में अब तक 28.76 लाख हेक्टेयर में खरीफ फसल बिजाई

प्रदेश में अब तक 28.76 लाख हेक्टेयर में खरीफ की फसलों की बिजाई हो चुकी है। यह लक्ष्य का 94.11 फीसदी है। यानी अभी करीब छह फीसदी बिजाई बाकी है। पिछले साल इस अवधि में 28.73 लाख हेक्टेयर में खरीफ फसलों की बिजाई हुई थी। अबकी बार सबसे अधिक 13.23 लाख हेक्टेयर में धान, 4.37 लाख हेक्टेयर में बाजरा, 7.38 लाख हेक्टेयर में कपास, 1.13 लाख हेक्टेयर में गन्ना और 1.43 लाख हेक्टेयर में ग्वार की बिजाई हुई।
फिलहाल दो दिन माॅनसून कमजोर रहेगा, 25 से फिर सक्रियता पकड़ेगा। 28 अगस्त से अच्छी बरसातों का दौर शुरू होगा। अबकी बार माॅनसून सीजन के करीब दो माह में चार एंटी साइक्लोन आ चुके हैं। इससे माॅनसून की सक्रियता बीच-बीच में कमजोर होती रही है। सितंबर में भी काफी बरसात होने की उम्मीद है। -डॉ. सुरेंद्र पाल, निदेशक, आईएमडी, चंडीगढ़।

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