मुख्यमंत्री जी पैदल या बाईक पर जीन्द दर्शन के लिए निकालें समय : राजकुमार गोयल
जीन्द की बदहाली का लें जायजा ताकि शहर का हो जाए कुछ भला
जीन्द : जींद विकास संगठन के अध्यक्ष एवं प्रमुख समाजसेवी डा. राजकुमार गोयल ने प्रदेश के मुख्यमंत्री मनोहर लाल से मांग की है कि वे 4 दिसम्बर को अपने जींद दौरे के दौरान पैदल या बाईक से जींद दर्शन के लिए समय जरूर निकालें और जीन्द की बदहाली, टूटी-फूटी सड़कों, ठप्प सीवरेज व्यवस्था सहित विभिन्न समस्याओं की जानकारी लें ताकि शहर का कुछ भला हो सके।गोयल का कहना है कि शहर के अंदर की अधिकांश सड़कें जर्जर हालत में हैं। रानी तालाब से लेकर जींद सिटी रेलवे फाटक तक सड़क का बुरा हाल है। रोहतक रोड, भिवानी रोड की सड़के बुरी तरह से टूटी हुई है। मिनी बाईपास के हालात दयनीय हैं। मिनी बाईपास गोहाना रोड से लेकर रोहतक रोड और रोहतक रोड से लेकर भिवानी रोड रेलवे फाटक तक सड़क का बूरा हाल है। राजा जी कोठी वाली सड़क, अपोलो रोड, रेलवे रोड, सैक्टरों की कई सड़के बदहाल हालात में है। इतना ही नही शहर को टाइलों का शहर बना कर रख दिया गया है। शहर में सीवरेज का बुरा हाल है। ज्यादातर सीवर जाम रहते हैं। अनेक ऐसी कालोनियां है जहां पर अभी तक सीवरेज व्यवस्था ही नहीं है जबकि उन कॉलोनियों को सरकार द्वारा वैध घोषित किए भी 5 साल से ज्यादा का समय हो गया है। जरा सी बारिश में शहर की पोश कॉलोनियों में पानी भर जाता है। कई कई दिनों तक पानी की निकासी नहीं होती जिससे लोगों को भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है।गोयल का कहना है कि इसके साथ साथ शहर में गंदगी का बूरा हाल है। दुकानों के आगे जो गंदगी इकट्ठी होती है उसको उठाने के लिए कोई उचित व्यवस्था नहीं की गई है। शहर में जो लाइटें लगाई गई है उनमें से भी अधिकतर खराब है। कई स्थानों पर तो लाइटें लगाए जाने के बाद दोबारा सुध ही नहीं ली गई। जो अमरूत योजना के तहत शहर में पाईप डाले गए थे उन तक बरसाती पानी जाने के लिए जो मैन हाल बनाए गए थे उनमे से अधिकतकर बंद पड़े हैं। इस योजना पर करोड़ो रूपये लगे थे। जब नियमित रूप से मैन हाल साफ ही नही होंगे तो बरसाती पानी कैसे अमरूत योजना के पाइपों तक पहुंचेगा। गोयल का कहना है कि मुख्यमंत्री मनोहर लाल 4 दिसम्बर को जीन्द आ रहे है। इस दिन वे एकलव्य स्टेडियम में एक कार्यक्रम में शिरकत करेंगे। मुख्यमंत्री के इस दौरे को देखते हुए प्रशासन ने एकलव्य स्टेडियम के पास की सडको को रातों रात ठीक कर दिया है ऐसे में अगर मुख्यमंत्री 4 दिसम्बर को पैदल या बाईक पर जीन्द शहर का दर्शन कर यहां की बदहाली का जायजा लें तो शायद रातो रात जीन्द शहर का भी कुछ भला हो जाएगा।
जीन्द : इसके साथ साथ जीन्द की कुछ ऐसी समस्याएं है जिनका मुख्यमंत्री लेवल पर तुरंत समाधान हो सकता है। जीन्द में पासपोर्ट बनाए जाने की सुविधा नहीं है। यह सुविधा तुरंत शुरू हो सकती है। कई कालोनियों में कुते हिंसक बने हुए है। छोटे बच्चों व बेसहारा पशुओं को अपना शिकार बना रहे है। प्रशासन को बार बार कहने के बाद भी यहां तक की सीएम विंडो लगाने के बाद भी नगर परिषद कोई कार्रवाई नहीं कर रहा। मुख्यमंत्री लेवल पर इस समस्या का तुरंत समाधान हो सकता है। सिविल अस्पताल में रात को पोस्टमार्टम की सुविधा नहीं है। जिसके चलते लोगों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है। यह समस्या भी मुख्यमंत्री लेवल पर तुरंत दूर हो सकती है। पूरे शहर में सड़कों और चौको पर सीसीटीवी कैमरों की कमी है। यह समस्या भी मुख्यमंत्री स्तर पर दूर हो सकती है। गोहाना रोड पर मिनी बाईपास चौराहे व अन्य कई चौराहों पर रेड लाईट की अत्यंत आवश्यकता है। इसके साथ साथ शहर की सुन्दरता को चार चांद लगाने के लिए विशेष पैकेज भी आवश्यकता है। ऐतिहासिक रानी तालाब मंदिर का गोल्डन टेम्पल की तर्ज पर सौर्दय करण करने के लिए विशेष पैकेज की भी जरूरत है।
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