पंकज उधास की धून अनंत काल तक गूंजती रहेगी : राजकुमार गोयल
जीन्द : अपनी सुरीली आवाज से गजल गायकी को नया आयाम देने वाले गजल सम्राट पंकज उधास अब हमारे बीच नही रहे। उनके निधन पर जहां पूरे देश से शोक संवेदनाएं आ रही हैं वही जींद के प्रशंसकों में भी काफी उदासी है। जींद में भी पंकज उधास के काफी प्रशंसक है जिनका कहना है कि पंकज उधास के निधन से उन्हे गहरा धक्का लगा है। उनके जाने से संगीत जगत में काफी कमी महसूस की जाती रहेगी। उनकी धून अनंत काल तक गूंजती रहेगी।अखिल भारतीय अग्रवाल समाज हरियाणा के अध्यक्ष एवं प्रमुख समाजसेवी डा. राजकुमार गोयल भी उनके प्रशंसकों में से एक रहे है। वे बताते है कि जब कॉलेज टाइम के दौरान ‘नाम’ फिल्म में पंकज उधास की चिट्ठी आई है गजल सुनने को मिली तब से वे उनके प्रशंसक हो गए थे। उस दौरान में उन्होने कई बार पंकज उधास को चिट्ठियां भी लिखी। पंकज उधास का जब पहली बार चिट्ठी का जवाब आया तो उन्हें बड़ी खुशी हुई। राजकुमार गोयल बताते है कि उनका लगातार पंकज उधास से पत्र व्यवहार होता रहा। अब मोबाइल से उनका पंकज उधास से सीधा संपर्क था। राजकुमार गोयल का यह भी कहना है कि पंकज उधास का जन्मदिन 17 मई का है और उनका जन्मदिन भी 17 मई का है ऐसे में जुडाव और भी ज्यादा रहा।
राजकुमार गोयल का कहना है कि उन्हे पंकज उधास के निधन से बडा दुख हुआ है। वे कभी पंकज उधास को भूल नहीं पाऐंगे। उनके निधन से गजल की दुनिया को बहुत बड़ी क्षति हुई है जो कभी पूरी नही हो सकती। पंकज उधास की धून अनंत काल तक गूंजती रहेगी। गोयल का कहना है कि वे उनके निधन पर गहरा शोक व्यक्त करते है। भगवान उनकी आत्मा को शान्ति प्रदान करे व उनके परिवार को यह दुख सहने की शक्ति प्रदान करे।
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