कार्यपालिका द्वारा बनाए गए वैक्यूम को भरने के लिए न्यायपालिका कदम। न्यायपालिका द्वारा वैक्यूम भरने में कौन कदम रखेगा? - अशोक खेमका
Judiciary steps in to fill the vacuum created by Executive.
— Ashok Khemka (@AshokKhemka_IAS) May 8, 2021
Who will step in where vacuum is created by Judiciary?
ये तंज देश की राजनितिक व्यवस्था पर- हितेश हिन्दुस्तानी
हरियाणा बुलेटिन न्यूज़ को सामाजिक मुद्दों के जानकार हितेश हिन्दुस्तानी ने बताया की खेमका का ये ट्वीट देश की न्यायपालिका के साथ साथ राजनितिक व्यवस्था पर भी सवालिया निशान खड़ाने वाला है, उनका इशारा आज के हालातो पर है जब कार्यपालिका द्वारा बनाए गए नियमों मे कमी दूर करने के लिए न्यायपालिका कदम उठा रही है लेकिन यदि न्यायपालिका के कदमो मे भी कोई कमी रह जाती है तो क्या देश मे कोई राजनितिक व्यवस्था कार्य कर रही है जो देश के हालातों की समीक्षा करके उचित कदम उठा सके |
अशोक खेमका के ट्वीट पर आपकी क्या राय है हमे ईमेल करे haryanabulletinnews@gmail.com
अशोक खेमका का परिचय
वह 1991 बैच के आईएएस अधिकारी हैं। उनके द्वारा विभागों में भ्रष्टाचार उजागर किए जाने के बाद वह बार बार हरियाणा के अपने गृह कैडर में विभिन्न राज्य सरकारों द्वारा स्थानांतरित किये गये हैं। खेमका 27 साल में 53 बार स्थानांतरित हुये हैं।
बंसीलाल के नेतृत्व वाली हरियाणा विकास पार्टी की सरकार के दौरानडॉ॰ खेमका का कई बार तबादले हुए। ओम प्रकाश चौटाला के नेतृत्व वाली इनलो की सरकार के दौरान डॉ॰ खेमका का पांच साल में नौ बार तबादला हुआ और निदेशक के रूप में श्रम एवं रोजगार रोजगार एवं प्रशिक्षण विभाग में 15 महीनों का कार्यकाल पूरा किया जो कि सेवा के 21 वर्षों के दौरान अपने सबसे लंबा समय है। भूपेंदर सिंह हुड्डा के नेतृत्व वाली कांग्रेस की सरकार के दौरान डॉ॰ खेमका का कई बार तबादले हुए | हर बार खेमका ने अपने तबादले को ले कर मिडिया में सरकार के प्रति नाराजगी जाहिर की।
मनोहर लाल खट्टर के नेतृत्व वाली भाजपा की सरकार के दौरान डॉ॰ खेमका का कई बार तबादले हुए 2017 नवम्बर में अशोक खेमका 26 वर्षों की जॉब में 51 बार तबादला हुआ है यह तबादला भाजपा सरकार के शाशन काल में 6 या 7 बार हो रहा है। अब की बार इन्हें इनके सबसे बड़े हितेषी अनिल विज के विभाग में किया गया है।
मौत की धमकी
कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी के दामाद रॉबर्ट वाड्रा और रियल एस्टेट कंपनी डीएलएफ के बीच संदिग्ध भूमि सौदों पर राज्य सरकार कार्रवाई करने वाले श्री खेमका को मौत की धमकी तक प्राप्त हुई। यह शिकायत HSDC मुख्य प्रबंधक के.आर.शर्मा ने पंचकूला पुलिस के पास दर्ज कराई।
विवाद
खेमका हाल ही में हरियाणा के महानिदेशक भूमि और भूमि पंजीकरण के रिकार्ड व महानिरीक्षक थे। विभाग में अपने 80 दिन के कार्यकाल के दौरान, खेमका ने नव निर्मित रियल एस्टेट कंपनियों के लिए रुपयों की कई सौ करोड़ रुपये मूल्य की पंचायत भूमि के हस्तांतरण को शामिल भूमि लेनदेन में गंभीर अनियमितताओं का पता लगाया था।
पुरस्कार
'भ्रष्टाचार के खिलाफ धर्मयुद्ध' के लिए - '2011 एसआर जिंदल पुरस्कार' से सम्मानित किया। उच्च पदों पर भ्रष्टाचार को उजागर करने में उनकी निडर प्रयासों के लिए श्री संजीव चतुर्वेदी के साथ 10 लाख रुपये का नकद पुरस्कार मिला।
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