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Thursday, June 1, 2023

June 01, 2023

सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता राज्यमंत्री ओमप्रकाश यादव ने की स्वास्थ्य एवं गृह मंत्री अनिल विज से मुलाकात

सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता राज्यमंत्री ओमप्रकाश यादव ने की स्वास्थ्य एवं गृह मंत्री अनिल विज से मुलाकात
चंडीगढ़ 1 जून- हरियाणा के सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता राज्यमंत्री ओमप्रकाश यादव ने आज यहां स्वास्थ्य एवं गृहमंत्री अनिल विज के साथ जिला महेंद्रगढ़ की विभिन्न परियोजनाओं को लेकर चर्चा की। श्री यादव ने महेन्द्रगढ़ पुलिस के बारे में भी गृह मंत्री श्री अनिल विज से मंत्रणा की।

श्री यादव ने महेंद्रगढ़ जिले के कोरियावास में बन रहे मेडिकल कॉलेज के बारे में बताया कि यह मेडिकल कॉलेज जिले के साथ-साथ राजस्थान के, साथ लगने वाले गांवों के लिए भी बहुत बड़ी सौगात होगा। अगले साल इसका कार्य पूरा हो जाएगा। श्री यादव ने गृह एवं स्वास्थ्य मंत्री श्री अनिल विज को बताया कि मुख्यमंत्री जनसंवाद कार्यक्रम के तहत महेंद्रगढ़ जिले की अनेक पंचायतों ने कोरियावास में निर्माणाधीन मेडिकल कॉलेज का नाम अमर शहीद राव तुलाराम के नाम पर रखने का मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल से अनुरोध किया है।
इसके अलावा, सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता राज्यमंत्री श्री ओमप्रकाश यादव ने  स्वास्थ्य मंत्री से आग्रह किया कि नारनौल में नागरिक अस्पताल का भवन जल्द से जल्द बनवाया जाए। नया भवन बनने के बाद यहां लोगों को और अधिक बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध करवाई जा सकेगी। उन्होंने नागरिक अस्पताल नारनौल में ट्रामा सेंटर का जल्द निर्माण करवाने और 100 बेड से 200 बेड के अस्पताल का कार्य जल्द पूरा कर नारनौल विधानसभा क्षेत्र में लगते पीएचसी व सीएचसी  में चिकित्सकों के खाली पद तुरंत भरने का अनुरोध किया।उन्होंने पटीकरा के बाबा मस्तनाथ राजकीय आयुर्वेद मेडिकल कॉलेज के बारे में बताया कि वहां पर आयुर्वेद की कक्षाएं शुरू हो चुकी हैं।   श्री यादव ने आयुर्वेदिक मेडिकल कॉलेज में हॉस्टल व स्टाफ के लिए अतिरिक्त भवन बनाने के लिए भी अनुरोध किया। पटीकरा में आयुर्वेदिक मेडिकल कॉलेज बनाने के लिए जिले की जनता की तरफ से मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल तथा स्वास्थ्य मंत्री श्री अनिल विज का आभार भी व्यक्त किया।
June 01, 2023

संसाधनों की कमी से राजकीय विद्यालयों के बच्चे नहीं रहेंगे पीछे: शिक्षा मंत्री

संसाधनों की कमी से राजकीय विद्यालयों के बच्चे नहीं रहेंगे पीछे: शिक्षा मंत्री
चंडीगढ़ , 1 जून - हरियाणा के शिक्षा मंत्री श्री कंवर पाल  ने कहा कि प्रदेश में संसाधनों की कमी की वजह से राजकीय विद्यालयों के बच्चे कभी पीछे नहीं रहेंगे, ऐसे में सरकार हर पहलू पर फोकस रखते हुए शिक्षा विभाग के माध्यम से विद्यार्थियों को लाभान्वित कर रही है। मिशन बुनियाद व हरियाणा सुपर 100 सरीखे कार्यक्रमों के साथ गुणात्मक शिक्षा प्रदेश की युवा शक्ति को दी जा रही है।cशिक्षा मंत्री आज  रेवाड़ी में शिक्षा विभाग की ओर से आयोजित ओरिएंटेशन प्रोग्राम के शुभारम्भ अवसर पर बोल रहे थे। शिक्षा मंत्री ने जन स्वास्थ्य एवं सहकारिता मंत्री डॉ. बनवारी लाल के साथ राजकीय कन्या वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय सेक्टर 4 में हरियाणा सुपर 100 के नए परिसर का शिलान्यास भी किया।

 शिक्षा मंत्री ने आयोजित कार्यक्रम में युवा शक्ति को प्रेरित करते हुए कहा कि आत्मविश्वास के साथ बच्चे लक्ष्य निर्धारित कर जीवन में आगे बढ़ें। उन्होंने बताया कि हरियाणा सरकार बुनियाद कार्यक्रम के तहत 9वीं व 10वीं कक्षा में ऑनलाइन एजुकेशन प्रदत की जा रही है और उसके साथ ही हरियाणा सुपर 100 प्रोग्राम के माध्यम से युवाओं के जीवन में उनके आईआईटी व एमबीबीएस के सपने को साकार करते हुए मार्गदर्शन दिया जा रहा है। उन्होंने विकल्प फाउंडेशन द्वारा सुपर 100 कार्यक्रम में निभाए जा रहे दायित्व पर उनकी कार्यशैली की सराहना की।
 शिक्षा मंत्री ने कहा कि हरियाणा सुपर 100 एक अद्वितीय पहल है, जिसका उद्देश्य छात्रों को गुणवत्तापूर्ण शिक्षा और प्रतिस्पर्धा का माहौल प्रदान करना है। यह एक आवासीय कार्यक्रम है जो विद्यार्थियों को आईआईटी और एनईईटी प्रवेश परीक्षा उत्तीर्ण करने के लिए प्रशिक्षण प्रदान करता है। हरियाणा स्कूल शिक्षा मंत्री ने सुपर 100 बैच 2023-25 में चयनित छात्रों को प्रोत्साहित करते हुए उन्हें भविष्य के लिए शुभकामनाएं भी दी।
जनस्वास्थ्य एवं सहकारिता मंत्री डॉ. बनवारी लाल ने कहा कि हरियाणा प्रदेश में रेवाड़ी जिला शिक्षा के क्षेत्र में नए कीर्तिमान स्थापित कर रहा है। आज बोर्ड परीक्षाओं में रेवाड़ी जिला के बच्चे प्रदेश के पहले पायदान पर खड़े होकर हमें गौरवान्वित कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि हरियाणा प्रदेश में गुणात्मक शिक्षा दी जा रही है और मेरिट के आधार पर योग्य युवाओं को रोजगार उपलब्ध कराया जा रहा है।
June 01, 2023

उपभोक्ता शिकायत निवारण मंच के सदस्य जून माह में विभिन्न स्थानों का दौरा करेंगे

उपभोक्ता शिकायत निवारण मंच के सदस्य जून माह में विभिन्न स्थानों का दौरा करेंगे
चंडीगढ़, 1 जून - उत्तर हरियाणा बिजली वितरण निगम (यूएचबीवीएन) ने ‘पूर्ण उपभोक्ता संतुष्टि’ के लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए बिजली विभाग द्वारा अनेक महत्वाकांक्षी कार्यक्रम प्रारंभ किये गए हैं ताकि उपभोक्ताओं की समस्याओं को त्वरित रूप में सुलझाया जा सके। यूएचबीवीएन के उपभोक्ताओं की शिकायतें दर्ज करने और पुरानी शिकायतों की सुनवाई के लिए उपभोक्ता शिकायत निवारण मंच के सदस्य जून माह में विभिन्न स्थानों का दौरा करेंगे।  
निगम के प्रवक्ता ने यह जानकारी देते हुए बताया कि मंच के सदस्य, 02 जून को ऑपरेशन सर्कल कैथल, 05 को ऑपरेशन डिविजन पंचकूला, 07 को ऑपरेशन सर्कल अंबाला, 09 को ऑपरेशन सर्कल रोहतक, 12 को ऑपरेशन सर्कल करनाल, 13 को ऑपरेशन सर्कल पानीपत, 16 को ऑपरेशन सर्कल सोनीपत, 19 को ऑपरेशन डिवीजन शाहाबाद (कुरुक्षेत्र), 21 को ऑपरेशन सर्कल यमुनानगर, 23 को ऑपरेशन सर्कल झज्जर, 26 को ऑपरेशन सिटी डिवीजन, पानीपत और 28 जून को ऑपरेशन डिविजन, पिंजौर/मोरनी (पंचकूला) में सी.जी.आर.एफ. टीम के सदस्य शिकायतों की सुनवाई करेंगे और नई शिकायतें भी दर्ज करेंगे। इससे उपभोक्ताओं को अपने केस की सुनवाई की सुविधा निकटतम स्थान पर उपलब्ध होगी। इसके अलावा, क्षेत्रीय दौरे को छोडक़र कार्यालय आने वाले उपभोक्ताओं की शिकायतों का निवारण सीजीआरएफ मुख्यालय पर होगा।
मंच के सदस्य उपभोक्ताओं की सभी प्रकार की समस्याओं की सुनवाई करेंगे। इनमें मुख्यतः: बिलिंग, वोल्टेज, मीटरिंग से संबंधित शिकायतें, कनेक्शन काटने और जोड़ने, बिजली आपूर्ति में बाधाएं, कार्यकुशलता, सुरक्षा और हरियाणा बिजली विनियामक आयोग के आदेशों की अवहेलना आदि शामिल हैं। बहरहाल, मंच द्वारा बिजली अधिनियम की धारा 126 तथा धारा 135 से 139 के अन्तर्गत बिजली चोरी और बिजली के अनधिकृत उपयोग के मामलों में दंड तथा जुर्माना और धारा 161 के अन्तर्गत जांच एवं दुर्घटनाओं से सम्बंधित मामलों की सुनवाई नहीं की जाएगी।
June 01, 2023

बिशम्बर सिंह विधानसभा की याचिका समिति के सदस्य नामित

बिशम्बर सिंह विधानसभा की याचिका समिति के सदस्य नामित
चंडीगढ़, 1 जून - हरियाणा विधानसभा के अध्यक्ष श्री ज्ञान चंद गुप्ता ने बवानीखेड़ा से विधायक बिशम्बर सिंह को विधानसभा की याचिका समिति में विशेष आमंत्रित के रूप में नामित किया है। विधानसभा अध्यक्ष ने प्रक्रिया और कार्य संचालन संबंधी नियम 268 के तहत श्री बिशम्बर सिंह को नामित किया है। आज यहाँ जारी एक अधिसूचना में यह जानकारी दी गई।
June 01, 2023

केंद्र के साथ मिलकर हरियाणा सरकार पंजाब विश्वविद्यालय को आगे बढ़ाएगी- मनोहर लाल

केंद्र के साथ मिलकर हरियाणा सरकार पंजाब विश्वविद्यालय को आगे बढ़ाएगी- मनोहर लाल  
चंडीगढ़, 1 जून - पंजाब विश्वविद्यालय, चंडीगढ़ में हरियाणा की हिस्सेदारी की बहाली और हरियाणा राज्य के कॉलेजों की पंजाब विश्वविद्यालय से संबद्धता की दिशा में सकारात्मक कदम बढ़े हैं। पंजाब के राज्यपाल और चंडीगढ़ के प्रशासक श्री बनवारी लाल पुरोहित की अध्यक्षता में आज यहां हरियाणा के मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल और पंजाब के मुख्यमंत्री श्री भगवंत मान के साथ पंजाब यूनिवर्सिटी के विभिन्न विषयों को लेकर सौहार्दपूर्ण माहौल में बैठक हुई।

श्री बनवारी लाल पुरोहित ने कहा कि शिक्षा के क्षेत्र में आज बहुत विकास हो रहा है। ग्रामीण क्षेत्रों तक भी शिक्षा की पहुंच हो, इसके लिए सभी सरकारों को काम करना चाहिए। उन्होंने दोनों मुख्यमंत्रियों को कहा कि पंजाब यूनिवर्सिटी के जो विषय हैं उन पर आपसी सहमति से आगे बढ़ना चाहिए और हरियाणा के कॉलेजों की पंजाब विश्वविद्यालय से संबद्धता का विषय बड़ा विषय नहीं है, यह करना संभव है। हरियाणा, पंजाब के इस सहयोग से निश्चित रूप से एक अच्छी शुरुआत होगी।
हरियाणा के कॉलेजों की संबद्धता पंजाब विश्वविद्यालय, चंडीगढ़ से की जाए - मनोहर लाल

बैठक में मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल ने कहा कि पंजाब पुनर्गठन अधिनियम, 1966 के तहत पंजाब विश्वविद्यालय में हरियाणा राज्य का हिस्सा दिया गया था और हरियाणा के कॉलेज और क्षेत्रीय केंद्र पंजाब विश्वविद्यालय से संबद्ध थे। लेकिन 1973 को एक अधिसूचना जारी कर इसे समाप्त कर दिया गया था।

उन्होंने कहा कि आज के युग में अंतरराष्ट्रीय विश्वविद्यालयों से भी राज्यों के कॉलेजों की संबद्धता हो रही है। राष्ट्रीय शिक्षा नीति का उद्देश्य है कि सभी शिक्षण संस्थान देश की उन्नति में सहयोग करें और सभी राज्यों का आपसी संबंध और प्रगाढ़ हों। इसलिए हरियाणा के कॉलेजों की संबद्धता पंजाब विश्वविद्यालय, चंडीगढ़ से की जाए।  
केंद्र के साथ मिलकर हरियाणा सरकार पंजाब विश्वविद्यालय को आगे बढ़ाएगी

श्री मनोहर लाल ने कहा कि पंजाब  विश्वविद्यालय एक केंद्रीय विश्वविद्यालय, जिसमें हरियाणा के कॉलेज का भी एफिलिएशन होना चाहिए। केंद्र के साथ मिलकर हरियाणा सरकार पंजाब विश्वविद्यालय को आगे बढ़ाएगी ताकि विश्वविद्यालय समृद्ध बने और उसकी अवश्यकताएं भी पूरी हों।  

पंजाब के कॉलेज हरियाणा के साथ जुड़कर करना चाहें काम तो स्वागत

मुख्यमंत्री ने पंजाब सरकार को सुझाव दिया कि युवाओं के भविष्य के लिए पंजाब के कॉलेज भी यदि हरियाणा के साथ जुड़कर काम करना चाहें तो हम उनका स्वागत करते हैं।

बैठक में पंजाब के मुख्यमंत्री श्री भगवंत मान ने सकारात्मक रुख दिखाते हुए इन विषयों को अंतिम रूप देने के लिए कुछ समय मांगा। 5 जून को दोबारा सभी पक्षकारों की बैठक होगी।

बैठक में हरियाणा के मुख्य सचिव श्री संजीव कौशल, पंजाब के मुख्य सचिव श्री विजय कुमार जंजुआ, हरियाणा के मुख्यमंत्री के अतिरिक्त प्रधान सचिव और सूचना लोक संपर्क भाषा एवं संस्कृति विभाग के महानिदेशक डॉ अमित अग्रवाल, उच्च शिक्षा विभाग के निदेशक श्री राजीव रतन, सामान्य प्रशासन विभाग के विशेष सचिव श्री आदित्य दहिया, पंजाब विश्वविद्यालय की कुलपति प्रो रेनू विग सहित पंजाब और चंडीगढ़ के उच्च अधिकारी भी उपस्थित रहे।
June 01, 2023

रिश्वतखोरी में एटीपी गिरफ्तार, अनाधिकृत कॉलोनी को ना तोड़ने के एवज में बिचौलिए आर्किटेक्ट के माध्यम से मांगे 40 लाख रुपये

रिश्वतखोरी में एटीपी गिरफ्तार, अनाधिकृत कॉलोनी को ना तोड़ने के एवज में  बिचौलिए आर्किटेक्ट के माध्यम से मांगे 40 लाख रुपये
चंडीगढ़, 1 जून - हरियाणा एंटी करप्शन ब्यूरो (एसीबी) ने रोहतक नगर निगम में तैनात एक सहायक टाउन प्लानर (एटीपी) सहित तीन आरोपियों को 10 लाख रुपये की रिश्वत मांगने और स्वीकार करने के आरोप में गिरफ्तार किया है।

एसीबी के प्रवक्ता ने आज यहां जानकारी साझा करते हुए बताया कि शिकायतकर्ता के अनुसार, एटीपी ने सह-आरोपी त्रिलोक चंद शर्मा, एक निजी आर्किटेक्ट के साथ मिलकर उससे 40,00,000 रुपये की रिश्वत की मांग की थी। शिकायतकर्ता की नौ एकड़ जमीन पर काटी गई अनधिकृत कॉलोनी को गिराने से रोकने के एवज में रिश्वत की मांग की गई थी।

एटीपी ने शिकायतकर्ता को रिश्वत के पैसे की बात करने के लिए आर्किटेक्ट त्रिलोक चंद शर्मा से बात करने को कहा। शिकायतकर्ता ने आर्किटेक्ट से मुलाकात की जिसने एटीपी की ओर से रिश्वत की मांग की। हालांकि शिकायतकर्ता ने इतनी बड़ी राशि देने में असमर्थता जताई और रिश्वत की रकम कम करने को कहा। आखिरकार रिश्वत की रकम 20 लाख रुपये तय हुई।

 शिकायतकर्ता, जो रिश्वत नहीं देना चाहता था, ने जन सेवक द्वारा एक बिचौलिए के माध्यम से की गई पैसे की मांग की सूचना एसीबी को दी।

शिकायत पर तेजी से कार्रवाई करते हुए, एसीबी ने एक जाल बिछाया, जिससे एटीपी के निर्देशानुसार रिश्वत की आधी राशि, यानी 10 लाख रुपये स्वीकार करते हुए  बिचौलिए  त्रिलोक चंद शर्मा को गिरफ्तार कर लिया गया। इसके बाद एटीपी और पारा मोहल्ला, रोहतक निवासी एक अन्य आरोपी को भी गिरफ्तार किया गया।

आरोपियों के खिलाफ रोहतक के एसीबी थाने में मामला दर्ज कर आगे की कार्रवाई की जा रही है। एसीबी भ्रष्टाचार का मुकाबला करने और सार्वजनिक सेवा में जवाबदेही सुनिश्चित करने के लिए प्रतिबद्ध है।
June 01, 2023

*आज ही के दिन हुआ नेपाल राजपरिवार का नरसंहार:प्रिंस ने राजा-रानी समेत 9 लोगों को गोली मारी; पूरी कहानी*

*आज ही के दिन हुआ नेपाल राजपरिवार का नरसंहार:प्रिंस ने राजा-रानी समेत 9 लोगों को गोली मारी; पूरी कहानी*
1 जून 2001 यानी आज से ठीक 22 साल पहले। नेपाल के शाही महल में एक पार्टी चल रही थी। राजा बीरेंद्र, रानी ऐश्वर्या समेत राजपरिवार के एक दर्जन से ज्यादा लोग मौजूद थे। रात करीब 8 बजे इस पार्टी के होस्ट राजकुमार दीपेंद्र भी हॉल में आ गए। वो पूरी सैनिक वर्दी में थे। उनके एक हाथ में MP5K सबमशीन गन और कोल्ट एम-16 राइफल थी। उनकी वर्दी में एक 9 एमएम पिस्टल लगी थी। दीपेंद्र ने अपने पिता राजा बीरेंद्र की तरफ देखा और दाहिने हाथ में पकड़ी हुई सबमशीन गन का ट्रिगर दबा दिया। इसके बाद अगले कुछ मिनटों में वहां मौजूद राजपरिवार के 9 लोगों की लाशें बिछ चुकी थीं। आखिर में राजकुमार दीपेंद्र ने खुद को भी गोली मार ली।

*एक लोक कथा और नेपाल की राजशाही पर संन्यासी का श्राप*

नेपाल में एक लोक कथा प्रचलित है। कहते हैं 1769 ईस्वी की बात है। जब पृथ्वी नारायण शाह ने नेपाल की तीन रियासतों को जीतकर खुद को राजा घोषित कर दिया। एक बार वो काठमांडू जा रहे थे। रास्ते में उनकी मुलाकात एक संन्यासी से हुई। संन्यासी भूखा है ये सोचकर राजा ने एक कटोरे में उसे दही दिया। संन्यासी ने दही चखा और फिर कटोरा वापस राजा को दे दिया। राजा ने जूठा दही जमीन पर फेंक दिया। उस दही पर राजा के पांव की दसों उंगलियां पड़ गईं।
तीन रियासतों को जीतने वाले संयुक्त नेपाल के पहले राजा पृथ्वी नारायण शाह की पेंटिग (तस्वीरः विकीमीडिया कॉमंस)
ये देखकर संन्यासी क्रोधित हो गया और राजा से पूछा कि दही क्यों फेंका। राजा ने जवाब दिया- जूठा दही खाना राजा को शोभा नहीं देता। तब संन्यासी ने राजा को धिक्कारते हुए कहा- अगर तूने दही खा लिया होता तो तेरी सारी मनोकामनाएं पूरी हो जातीं। चूंकि गिरा दही राजा की दसों उंगलियों पर लगा था, इसलिए उसी दिन 10 पुश्तों बाद राजशाही खत्म होने का श्राप मिला था। नेपाल के कुछ लोग मानते हैं कि 1 जून 2001 को हुआ राजपरिवार का नरंसहार उसी श्राप का फल था।

नेपाली राजपरिवार के नरसंहार की कहानी…

तारीख 1 जून। दिन शुक्रवार। जगह काठमांडू में नारायणहिती पैलेस। पैलेस के गार्डेन में एक पार्टी चल रही थी। नेपाल के राजपरिवार में हर सप्ताह ऐसी पार्टियां होती थीं। पार्टी में राजपरिवार के सभी मेंबर्स थे। छोटे बच्चों से लेकर बड़े बूढे़ सभी। इसमें से एक राजकुमार दीपेंद्र भी थे। वो शाम 6.45 बजे पार्टी में पहुंच चुके थे और पास ही एक कमरे में बिलियर्ड्स खेल रहे थे। थोड़ी देर में महारानी एश्वर्या तीन ननदों के साथ पहुंचीं। महाराजा बीरेंद्र भी एक पत्रिका को इंटरव्यू देकर थोड़ी देर से पहुंच गए। दीपेंद्र के चचेरे भाई राजकुमार पारस भी मां और पत्नी के साथ पहुंचे हुए थे।

पार्टी में सब हंसी खुशी से मशगूल थे, लेकिन राजकुमार दीपेंद्र के साथ सब सामान्य नहीं था। उन्होंने इतनी ज्यादा शराब पी ली थी कि ठीक से खड़े भी नहीं हो पा रहे थे। नशे में लड़खड़ा कर गिरे तो उनके छोटे भाई निराजन और चचेरे भाई पारस ने कुछ लोगों की मदद से उन्हें उनके कमरे में पहुंचाया।
थोड़ी देर बाद दीपेंद्र आर्मी की वर्दी पहनकर कमरे से बाहर निकले। उनके एक हाथ में जर्मन मशीन गन MP5K थी और दूसरे हाथ में कोल्ट M16 राइफल थी। एक 9MM पिस्टल भी उनकी पैंट में लगी थी। दीपेंद्र को इस हाल में बाहर आते देख पार्टी में मौजूद लोग हैरान रह गए।

पूरे यूनिफॉर्म में राजकुमार दीपेंद्र। ये तस्वीर 20 अप्रैल 2000 को काठमांडू में नारायणहिती रॉयल पैलेस में एक पदक वितरण कार्यक्रम की है। (तस्वीरः AFP) 
पूरे यूनिफॉर्म में राजकुमार दीपेंद्र। ये तस्वीर 20 अप्रैल 2000 को काठमांडू में नारायणहिती रॉयल पैलेस में एक पदक वितरण कार्यक्रम की है। (तस्वीरः AFP)
दीपेंद्र आगे बढ़े और पिता बीरेंद्र शाह की ओर देखा। कोई कुछ समझ पाता तब तक दीपेंद्र ने मशीन गन पिता की तरफ कर ट्रिगर दबा दिया। कुछ सेकेंड बाद नेपाल के महाराजा जमीन पर पड़े थे। दीपेंद्र के चाचा उन्हें रोकने के लिए बढ़े, लेकिन दीपेंद्र ने पॉइंट ब्लैक रेंज से उनके सिर में गोली मार दी। गोली उनके सिर को छेदते हुए पार कर गई।

दीपेंद्र कमरे से निकलकर गार्डन में गए। अब तक वहां मौजूद लोगों को अनहोनी का अंदाजा लग चुका था। महारानी एश्वर्या उनके पीछे भागीं, छोटे भाई प्रिंस निराजन भी मां के साथ दौड़े। पर दीपेंद्र ने पहले अपनी मां और फिर भाई निराजन को भी गोली से छलनी कर दिया। 3 से 4 मिनट में दीपेंद्र 12 लोगों पर गोली चला चुके थें। आखिर में गार्डन से होते हुए बाहर तालाब पर बने ब्रिज पर खड़े हुए और जोर-जोर से चीखने लगे। फिर खुद को भी सिर में गोली मार ली।

नेपाल के स्वर्गीय राजा बीरेंद्र सिंह और उनकी पत्नी रानी ऐश्वर्या की तस्वीर (फोटोः AFP)
कातिल दीपेंद्र और उनके पिता बीरेंद्र को एक ही कार में ले जाया गया

मिनटों के कत्लेआम के बाद भी महाराजा बीरेंद्र की सांसे चल रही थीं। दीपेंद्र भी अभी जिंदा थे। कुछ मिनट बाद कार से घायलों को ले जाया जाने लगा। संयोग ऐसा हुआ कि गोली चलाने वाले दीपेंद्र और जख्मी पिता बीरेंद्र को एक ही कार में हॉस्पिटल ले जाया गया।

9:15 बजे रात में घायलों को लेकर कारें अस्पताल पहुंचीं। थोड़ी ही देर में नेपाल के सर्वश्रेष्ठ हार्ट सर्जन, न्यूरो सर्जन और प्लास्टिक सर्जन पहुंच गए। रानी को कार से उतारते ही डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया। थोड़ी देर बार महाराज बीरेंद्र को भी मृत घोषित कर दिया गया। एक बार में हॉस्पिटल में इतने घायल पहुंचे थे कि ट्रॉमा में कोई बिस्तर नहीं बचा था।

दीपेंद्र को स्ट्रेचर पर अंदर लाया गया तो उनके लिए कोई बेड नहीं बचा था। उन्हें जमीन पर गद्दा बिछाकर लिटाया गया। फिर थोड़ी देर में दीपेंद्र को ऑपरेशन थियेटर में ले जाया गया। तीन दिन बाद 4 जून को दीपेंद्र की भी मौत हो गई।

आखिर राजकुमार दीपेंद्र ने अपने ही परिवार को क्यों मारा? इसका जवाब आज तक नहीं मिल पाया। नेपाल की सरकारी रिपोर्ट से लेकर मीडिया और इंडिपेंडेंट इंवेस्टिगेशन करने वाले ने अलग-अलग थ्योरी सामने रखी…
थ्योरी- 1: दीपेंद्र की प्रेमिका देवयानी राणा राजपरिवार को स्वीकार नहीं थी

इस हत्याकांड के 19 दिनों बाद नेपाल टाइम्स में एक खबर छपी। इसमें दावा किया गया कि प्रिंस दीपेंद्र ने ऐसा इसलिए किया क्योंकि उन्हें उनकी प्रेमिका देवयानी राणा से शादी नहीं करने दी जा रही थी। यहां तक कि उनके पिता महाराजा बीरेंद्र ने उन्हें गद्दी से बेदखल करने की बात तक कह दी थी।
देवयानी नेपाल में तीन बार मंत्री रह चुके पशुपति शमशेर जंग बहादुर राणा की बेटी थीं। देवयानी के तार भारत से भी जुड़ते हैं। देवयानी की मां यानी बहादुर राणा की पत्नी ग्वालियर प्रांत के महाराजा जीवाजीराव सिंधिया और महारानी विजयराजे सिंधिया की बेटी थीं।
दीपेंद्र की मां एश्वर्या को देवयानी से शादी मंजूर नहीं थी। वो अपने ही राज परिवार में दूर की रिश्तेदार से दीपेंद्र की शादी कराना चाह रही थीं। खबर के मुताबिक देवयानी के घरवाले भी इस रिश्ते को लेकर राजी नहीं हो रहे थे। चूंकि नेपाली राजघराने के मुकाबले देवयानी का परिवार अधिक संपन्न और धनाढ्य था। ऐसे में, देवयानी की मां को इस बात की चिंता थी कि हमेशा से इतने सुख-समृद्धि में रही उनकी बेटी कम संपन्न घर में कैसे रह पाएगी।

इंग्लैंड में 1987 से 1990 के बीच पढ़ाई के दौरान मिले दीपेंद्र और देवयानी घरवालों की बात दरकिनार कर मिलते रहे। राजकुमार अपने परिवार के सामने देवयानी से शादी करने की मिन्नतें करते रहे। उस समय की खबरों की माने तो 2001 वो साल था जब राजकुमार दीपेंद्र का सब्र जवाब दे गया था।

थ्योरी- 2: नेपाल के राजपरिवार को तबाह करने के पीछे RAW और CIA की साजिश

हत्याकांड के एक साल बाद 6 जून 2001 को नेपाल में अंडरग्राउंड माओवादी नेता बाबूराम भट्टाराई का कांतिपुर अखबार में एक लेख छपा। इसमें कहा गया कि ये पूरी घटना एक ‘पॉलिटिकल कॉन्सपिरेसी’ थी।

लेख में कहा गया कि राजपरिवार को तबाह करने के पीछे भारत की इंटेलिजेंस एजेंसी R&AW (रिसर्च एंड एनालिसिस विंग) और अमेरिका की इंटेलिजेंस एजेंसी CIA (सेंट्रल इंटेलिजेंस एजेंसी) का हाथ है। इस कॉलम के छपने के तुरंत बाद अखबार के तीन एडिटर्स को गिरफ्तार कर लिया गया।

2009 में नेपाल के पूर्व पैलेस मिलिट्री जनरल बिबेक शाह ने एक किताब लिखी ‘माइले देखेको दरबार’ (राजमहल, किसने देखा) और दावा किया कि मुमकिन है इस हत्याकांड के पीछे भारत का हाथ हो। नेपाल के ही एक और नेता पुष्प कमल दहल (उस समय माओवादी नेता) ने भी दावा किया कि इस हत्याकांड के पीछे RAW की साजिश थी।

थ्योरी-3: सिंहासन पाने के लिए ज्ञानेंद्र और पारस ने इस हत्याकांड को अंजाम दिया

अस्पताल से महाराजा बीरेंद्र के डॉक्टर और उनके छोटे भाई के दामाद राजीव शाह ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस की। उन्होंने बताया कि उस रोज नशे की हालत में दीपेंद्र पार्टी में आए और राजा-रानी समेत 9 लोगों को मार गिराया। डॉ. राजीव शाह ने दीपेंद्र के चचेरे भाई पारस की खूब तारीफ की थी।

बहरहाल, घटना के तीन दिन बाद दीपेंद्र की भी मृत्यु हो गई। तब पारस के पिता और राजा बीरेंद्र के छोटे भाई ज्ञानेंद्र को नेपाल नरेश बनाया गया। ज्ञानेंद्र उस दिन काठमांडू में न होकर कहीं और थे। राजकुमार पारस समेत ज्ञानेंद्र के परिवार के सभी लोगों की जान बच गई थी। इसलिए ये अफवाह भी उड़ी कि गद्दी पाने के लिए ज्ञानेंद्र और पारस ने मिलकर इस हत्याकांड को अंजाम दिया।

ज्ञानेंद्र को नेपाल का राजा बनाए जाने की सेरेमनी। उन्हें राजा बीरेंद्र और 3 दिन के राजा दीपेंद्र की मौत के बाद राजा बनाया गया था।
इस नरसंहार की जांच के लिए नेपाल के चीफ जस्टिस केशव प्रसाद उपाध्याय और नेपाली संसद के स्पीकर तारानाथ राणाभट की एक कमेटी बनाई गई। एक हफ्ते की जांच के बाद रिपोर्ट सामने आई। रिपोर्ट में सैकड़ों गवाहों के बयान से बताया गया कि इस हत्याकांड के पीछे राजकुमार दीपेंद्र ही थे।
June 01, 2023

सरकार अनुसूचित जाति वर्ग के कल्याण के लिए प्रतिबद्ध है:अनूप धानक

सरकार अनुसूचित जाति वर्ग के कल्याण के लिए प्रतिबद्ध है:अनूप धानक 
चंडीगढ़, 1 जून - हरियाणा के श्रम राज्य मंत्री अनूप धानक ने वीरवार को हलका तोशाम में करीब दर्जनभर गांवों में जनसंपर्क अभियान चलाया। उन्होंने ग्रामीणों की समस्याएं सुनी और मौके पर मौजूद अधिकारियों को समस्याओं का समाधान करने के निर्देश दिए। राज्य मंत्री श्री धानक ने वीरवार को गांव सुंगरपुर से अपने जनसंपर्क अभियान की शुरुआत की। इसके बाद उन्होंने गांव निंगाना कलां व निंगाना खुर्द, बागनवाला, बिडोला, खावा, ईशरवाल, इंदीवाली व हेतमपुरा में ग्रामीणों की समस्याएं सुनी। उन्होंने कहा कि प्रदेश में गठबंधन सरकार आमजन के हित में कार्य कर रही है। आज सरकार की नीतियों से हर वर्ग खुश है। सरकार अनुसूचित जाति वर्ग की भलाई के लिए सरकार प्रतिबद्ध है और निरंतर कल्याणकारी नीतियां लागू की जा रही हैं। उन्होंने कहा कि सरकार के लिए जनता का हित सर्वोपरि है। सरकार बिना किसी भाई-भतीजावाद से कार्य कर रही है। युवाओं को मेरिट के आधार पर नौकरियां दी जा रही हैं। लोगों को घर बैठे सरकार की योजनाओं का लाभ मिल रहा है।जनसंपर्क अभियान के दौरान श्रम राज्य मंत्री श्री धानक ने ग्रामीणों की बिजली, पानी, गली निर्माण आदि समस्याएं सुनी। उन्होंने मौके पर मौजूद अधिकारियों को निर्देश देते हुए कहा कि आम जनता को किसी प्रकार की समस्याओं का सामना न करना पड़े।
June 01, 2023

*PM मोदी करेंगे रामलला की प्राण प्रतिष्ठा:दिसंबर या जनवरी में होगा कार्यक्रम; देशभर में 7 दिन उत्सव मनेगा*

*PM मोदी करेंगे रामलला की प्राण प्रतिष्ठा:दिसंबर या जनवरी में होगा कार्यक्रम; देशभर में 7 दिन उत्सव मनेगा*
राम मंदिर के ग्राउंड फ्लोर और गर्भगृह का काम 15 दिसंबर तक पूरा कर लिया जाएगा। इसके बाद प्राण प्रतिष्ठा की तैयारी होगी।
अयोध्या में बन रहे श्रीराम मंदिर में राम लला की प्रतिमा दिसंबर या जनवरी में स्थापित होगी। श्रीरामजन्म भूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट ने प्राण प्रतिष्ठा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से कराने का फैसला लिया है। इस अवसर पर देशभर में रामलला की प्राण प्रतिष्ठा का उत्सव 7 दिन तक मनाया जाएगा।

यह जानकारी ट्रस्ट की बैठक के बाद महासचिव चंपत राय ने दी है। उन्होंने कहा- अभी प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम की तारीख तय नहीं है, लेकिन इसके लिए विद्वानों से चर्चा की जा रही है। राम मंदिर के ग्राउंड फ्लोर और गर्भगृह का काम 15 दिसंबर तक पूरा कर लिया जाएगा। इसके बाद प्राण प्रतिष्ठा की तैयारी होगी। ग्राउंड फ्लोर का 85% काम पूरा हो गया है।
प्रधानमंत्री को दिसंबर से 26 जनवरी 2024 के बीच कार्यक्रम की संभावित डेट के बारे में बताया जाएगा। ट्रस्ट के कोषाध्यक्ष गोविंद देव गिरि आमंत्रण के लिए पत्र तैयार करेंगे। इस पर महंत नृत्यगोपाल दास हस्ताक्षर करेंगे। इसे प्रधानमंत्री को भेजा जाएगा।

राम मंदिर में ग्राउंड फ्लोर का काम 15 दिसंबर तक पूरा कर लिया जाएगा। 
राम मंदिर में ग्राउंड फ्लोर का काम 15 दिसंबर तक पूरा कर लिया जाएगा।
उत्सव के लिए संतों-धर्माचार्यों से आग्रह करेंगे
चंपत राय ने कहा- देशभर में 7 दिनों के उत्सव के लिए संतों-धर्माचार्यों से आग्रह किया जाएगा। उनसे निवेदन किया जाएगा कि वे अपनी-अपनी जगहों पर प्राण प्रतिष्ठा का उत्सव मनाएं।

देशभर में 7 दिनों के उत्सव के लिए संतों-धर्माचार्यों से आग्रह किया जाएगा।
मकराना के संगमरमर से सजेगा ग्राउंड फ्लोर
चंपत राय ने कहा- राम मंदिर का ग्राउंड फ्लोर मकराना के संगमरमर से सजेगा। फर्श पर संगमरमर बिछाए जाने का काम एक-दो दिन में शुरू होगा। राम मंदिर के गर्भगृह में नक्काशीदार पत्थर लगाए जाएंगे।
श्रीराम की 3 मूर्तियां बनाने का काम शुरू
अयोध्या में श्रीराम मंदिर के लिए रामलला की 3 मूर्तियों का निर्माण शुरू हो गया है। सिर पर मुकुट, हाथ में धनुष-बाण लिए रामलला की मूर्तियां बनाई जा रही हैं। इनके लिए कर्नाटक की 2 श्याम शिला और राजस्थान के श्वेत संगमरमर का इस्तेमाल हो रहा है। हालांकि अभी ये निश्चित नहीं है कि इनमें से कौन-सी मूर्ति गर्भगृह के लिए चुनी जाएगी।

इन मूर्तियों को पूरी तरह से तैयार करने में करीब 4 महीने का वक्त लगेगा। रामसेवकपुरम् में कर्नाटक के मैसूर से आईं 2 शिलाओं, जबकि उसके सामने के परिसर में राजस्थान से आई संगमरमर की शिला को आकार दिया जा रहा है। कर्नाटक के शिल्पकार गणेश एल. भट्‌ट और राजस्थान के शिल्पकार सत्यनारायण पांडेय के नेतृत्व में यहां काम हो रहा है।

मूर्तिकार गणेश भट्‌ट ने बताया कि वह कर्नाटक के पत्थर को आकार देने में लगे हुए हैं।
51 इंच की मूर्ति, स्थापित होकर 8 फीट ऊंची हो जाएगी
मूर्तिकार गणेश भट्‌ट ने बताया कि रविवार को पत्थरों की पूजा की गई। मूर्तिकार ने काम करना शुरू कर दिया है। ये मूर्तियां 51 इंच लंबी बनाई जानी हैं। मूर्तियों को स्थापित करने के बाद इनकी ऊंचाई 8 फीट हो सकती है। सुदर्शन साहू और अरुण योगिराज भी मूर्तियों पर काम कर रहे हैं। दोनों टीमों में 4-4 सहयोगी भी सेवा दे रहे हैं।

मंदिर की छतों और दीवारों पर नक्काशीदार पत्थर लगाए गए हैं।
2 जून को मूर्तियों को लेकर होगी घोषणा
2 जून को श्रीरामजन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के अध्यक्ष महंत नृत्यगोपाल दास का जन्मोत्सव है। इस दिन संत सम्मेलन में राम मंदिर के ट्रस्ट और देश भर के संत शामिल होंगे। माना जा रहा है कि ट्रस्ट की बैठक में रामलला की मूर्ति पर सहमति बनने के बाद संत सम्मेलन में इसकी घोषणा सार्वजनिक की जाएगी। विहिप के प्रवक्ता शरद ने बताया कि ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय के निर्देश पर मूर्तियों का निर्माण शुरू हो चुका है।
June 01, 2023

*हिसार में मुआवजे को लेकर घेराव:किसानों ने लघु सचिवालय गेट पर ट्रैक्टर-ट्रॉली खड़ी कर लगाया स्थाई धरना*

*हिसार में मुआवजे को लेकर घेराव:किसानों ने लघु सचिवालय गेट पर ट्रैक्टर-ट्रॉली खड़ी कर लगाया स्थाई धरना*
हरियाणा के हिसार में लघु सचिवालय के समक्ष किसानों ने स्थाई डेरा डाल दिया है। पगड़ी संभाल जट्टा की टीम ट्रैक्टर-ट्रॉलियां लेकर पहुंची। किसानों के ट्रैक्टर-ट्रॉलियों को देखकर प्रशासन ने गेट बंद कर दिया। किसानों ने गेट से लेकर सड़क तक ट्रैक्टर-ट्रॉलियों की लंबी लाइन लगा दी। मुख्य गेट को पूरी तरह से बंद कर दिया।

गेट पर खड़े ट्रैक्टर।
सरसों खरीद बंद करने पर भी नाराजगी
किसानों ने फसल बीमा संबंधित पॉलिसी को रिवर्ट करने और किसानों को अब तक मुआवजा न मिलने को लेकर प्रदर्शन किया। इस दौरान किसानों ने ऐलान किया कि जब तक किसानों को मुआवजा नहीं मिलता, जब तक उनका लघु सचिवालय में पक्का मोर्चा जारी रहेगा।
किसानों ने इस बीच सरसों की खरीद बंद करने पर भी नाराजगी जाहिर की। किसान नेता संदीप बैनीवाल, संदीप धीरणवास ने कहा कि जब तक मुआवजे की राशि जारी नहीं होगी, तब तक किसान नहीं हटेंगे।गेट सचिवालय पर किसानों का जमावड़ा
29 हजार फॉर्म किए गए रिवर्ट
डीएसपी कप्तान सिंह ने किसानों की संख्या को देखकर मोर्चा संभाला। किसानों के प्रदर्शन को देखते हुए वज्र वाहन तैनात कर दिए गए। किसानों ने बताया कि जिले के करीब 29 हजार किसानों के फॉर्म में कमी निकालते हुए बीमा कंपनी ने उन्हें रिवर्ट कर दिया है। फसलों का मुआवजा न मिलने से किसानों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है।

किसानों ने आरोप लगाए कि शिकायत करने पर संबंधित बीमा कंपनी के अधिकारियों को प्रशासनिक अधिकारियों ने तलब किया तो उन्होंने एक ऐसे कर्मी को भेज दिया, जो बातचीत ही नहीं कर सकता था।
June 01, 2023

*पीयू में हिस्सेदारी पर मनोहर-मान की मीटिंग:हरियाणा CM बोले- पंजाब यूनिवर्सिटी से संबद्ध हों कॉलेज; मान ने मांगा समय, 5 को फिर मीटिंग*

*पीयू में हिस्सेदारी पर मनोहर-मान की मीटिंग:हरियाणा CM बोले- पंजाब यूनिवर्सिटी से संबद्ध हों कॉलेज; मान ने मांगा समय, 5 को फिर मीटिंग*
पंजाब विश्वविद्यालय चंडीगढ़ में हरियाणा की हिस्सेदारी की बहाली और हरियाणा राज्य के कॉलेजों की पंजाब विश्वविद्यालय से संबद्धता की दिशा में सकारात्मक कदम बढ़े हैं। पंजाब के राज्यपाल और चंडीगढ़ के प्रशासक बनवारी लाल पुरोहित की अध्यक्षता में हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल और पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान के साथ पंजाब यूनिवर्सिटी के विभिन्न विषयों को लेकर बैठक हुई।

बनवारी लाल पुरोहित ने कहा कि शिक्षा के क्षेत्र में आज बहुत विकास हो रहा है। ग्रामीण क्षेत्रों तक भी शिक्षा की पहुंच हो, इसके लिए सभी सरकारों को काम करना चाहिए।
उन्होंने दोनों मुख्यमंत्रियों को कहा कि पंजाब यूनिवर्सिटी के जो विषय हैं उन पर आपसी सहमति से आगे बढ़ना चाहिए और हरियाणा के कॉलेजों की पंजाब विश्वविद्यालय से संबद्धता का विषय बड़ा विषय नहीं है, यह करना संभव है। हरियाणा, पंजाब के इस सहयोग से निश्चित रूप से एक अच्छी शुरुआत होगी।

हरियाणा के कॉलेजों की संबद्धता पीयू से हो
बैठक में मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने कहा कि पंजाब पुनर्गठन अधिनियम, 1966 के तहत पंजाब विश्वविद्यालय में हरियाणा राज्य का हिस्सा दिया गया था। हरियाणा के कॉलेज और क्षेत्रीय केंद्र पंजाब विश्वविद्यालय से संबद्ध थे, लेकिन 1973 को एक अधिसूचना जारी कर इसे समाप्त कर दिया गया था। उन्होंने कहा कि आज के युग में अंतरराष्ट्रीय विश्वविद्यालयों से भी राज्यों के कॉलेजों की संबद्धता हो रही है।

राष्ट्रीय शिक्षा नीति का उद्देश्य है कि सभी शिक्षण संस्थान देश की उन्नति में सहयोग करें। सभी राज्यों का आपसी संबंध और प्रगाढ़ हों। इसलिए हरियाणा के कॉलेजों की संबद्धता पंजाब विश्वविद्यालय, चंडीगढ़ से की जाए।
पंजाब गवर्नर बीएल पुरोहित के साथ बैठक में उपस्थित हरियाणा CM मनोहर लाल खट्‌टर।
केंद्र के साथ मिलकर हरियाणा पीयू को आगे बढ़ाएगी
मनोहर लाल ने कहा कि पंजाब विश्वविद्यालय एक केंद्रीय विश्वविद्यालय है, जिसमें हरियाणा के कॉलेज का भी एफिलिएशन होना चाहिए। केंद्र के साथ मिलकर हरियाणा सरकार पंजाब विश्वविद्यालय को आगे बढ़ाएगी ताकि विश्वविद्यालय समृद्ध बने और उसकी आवश्यकताएं भी पूरी हों।

मुख्यमंत्री ने पंजाब सरकार को सुझाव दिया कि युवाओं के भविष्य के लिए पंजाब के कॉलेज भी यदि हरियाणा के साथ जुड़कर काम करना चाहें तो हम उनका स्वागत करते हैं। बैठक में पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने सकारात्मक रुख दिखाते हुए इन विषयों को अंतिम रूप देने के लिए कुछ समय मांगा।
CM पंजाब ने फैसले के लिए मांगा समय
CM भगवंत मान ने प्रदेश के युवाओं के उज्जवल भविष्य और दोनों प्रदेशों के बीच सौहार्दपूर्ण माहौल के लिए मामले पर अंतिम निर्णय लेने के लिए कुछ अतिरिक्त समय की मांग की है। वहीं, हरियाणा के CM मनोहर लाल खट्‌टर ने CM भगवंत मान से कहा कि यदि युवाओं के उज्जवल भविष्य के लिए पंजाब के कॉलेज हरियाणा के साथ जुड़कर काम करना चाहें तो उनका स्वागत है।

CM मनोहर लाल खट्‌टर ने कहा कि हरियाणा केंद्र सरकार की मदद से पंजाब यूनिवर्सिटी को ओर आगे बढ़ाएगा। मीटिंग में राष्ट्रीय शिक्षा नीति के तहत शिक्षण संस्थान द्वारा देश की उन्नति में सहयोग की बात भी कही गई।

5 जून को दोबारा होगी मीटिंग
पंजाब यूनिवर्सिटी की ग्रांट और हरियाणा के कॉलेजों को मान्यता मिलने के संबंध में दोनों प्रदेशों के CM की गवर्नर BL पुरोहित के साथ 5 जून को दोबारा मीटिंग होगी। इसमें शिक्षा व्यवस्था की मजबूती के लिए पंजाब-हरियाणा के बीच कोई समझौता भी किया जा सकता है।
1990 तक हरियाणा सरकार से मिली ग्रांट
बीते तीन दशक से अधिक समय से पंजाब यूनिवर्सिटी को पंजाब सरकार द्वारा ही ग्रांट जारी की जाती रही है। जबकि, साल 1990 तक हरियाणा सरकार द्वारा भी 40 प्रतिशत ग्रांट दी जाती रही। इसके पीछे कई प्रकार के राजनीतिक कारण रहे, लेकिन हरियाणा से ग्रांट बंद होने के बाद पंजाब यूनिवर्सिटी के संचालन के लिए केंद्र सरकार और पंजाब सरकार द्वारा ही ग्रांट दी जाती रही है।

इससे पंजाब यूनिवर्सिटी की आर्थिक स्थिति भी कमजोर होती गई। यदि हरियाणा सरकार PU को अब दोबारा ग्रांट देनी शुरू करती है तो यूनिवर्सिटी को आर्थिक तौर पर मजबूती मिलेगी।
June 01, 2023

*ग्रुप A, B, C और D भर्ती में नया ऑर्डर:अब ऑनलाइन होगा पुलिस वेरिफिकेशन; नियुक्ति आदेश रिलीज करने में नहीं होगी देरी*

*ग्रुप A, B, C और D भर्ती में नया ऑर्डर:अब ऑनलाइन होगा पुलिस वेरिफिकेशन; नियुक्ति आदेश रिलीज करने में नहीं होगी देरी*
अब ऑनलाइन होगा पुलिस वेरिफिकेशन; नियुक्ति आदेश रिलीज करने में नहीं होगी देरी|
हरियाणा में ग्रुप A, B, C और D के जरिए सभी विभागों, बोर्डों, निगम-निकायों, नए भर्ती कर्मचारियों की नियुक्ति प्रक्रिया में तेजी आएगी। इसके लिए राज्य सरकार ने मानव संसाधन प्रबंधन प्रणाली एप्लिकेशन (HRMS) में पुलिस सत्यापन को अपडेट करने के लिए एक नया ऑर्डर शामिल करने का निर्णय लिया है। अब यह पूरी प्रक्रिया ऑनलाइन होगी।

सरकार की ओर से कहा गया है कि इस ऑर्डर के जरिए पुलिस वेरिफिकेशन की प्रक्रिया और आसान हो जाएगी। साथ ही समयबद्ध तरीके से पूरा भी होगी।

नियुक्ति आदेश में नहीं होगी देरी
वर्तमान में पुलिस वेरिफिकेशन की प्रक्रिया में काफी समय लग जाता है, जो नियुक्ति आदेश जारी करने में देरी का कारण बनता है। इस प्रक्रिया के शुरू हो जाने से नियुक्ति के आदेश समय से जारी किए जा सकेंगे। मुख्य सचिव संजीव कौशल HRMS प्रणाली का उपयोग करते हुए ग्रुप A, B, C और D के नए भर्ती कर्मचारियों के पुलिस सत्यापन के लिए मॉड्यूल बनाने के संबंध में बैठक भी कर चुके हैं।
10 लाख उम्मीदवार कर चुके अप्लाई
हरियाणा स्टाफ सिलेक्शन कमीशन आने वाले दिनों में करीब 60 हजार भर्तियां करने जा रहा है। ये भर्तियां C और D ग्रुपों में की जाएंगी। HSSC के चेयरमैन भोपाल सिंह खदरी ने बताया कि C ग्रुप में 32 हजार, D ग्रुप में 12 हजार, 6 हजार महिला एवं पुरुष कांस्टेबल, 7500 TGT व अन्य भर्तियां की जाएंगी।

इन भर्तियों के लिए करीब 10 लाख उम्मीदवारों ने अप्लाई कर दिया है। हम फिर से पोर्टल को खोलने जा रहे हैं, ताकि जिन लोगों ने अप्लाई नहीं किया है, वह भी इसमें अप्लाई कर सकें। ‌

गुप D में 26 जून तक भर सकेंगे आवेदन
हरियाणा स्टाफ सलेक्शन कमिशन (HSSC) ने ग्रुप D के लिए CET फॉर्म भरने को लेकर नोटिफिकेशन जारी किया है। जिसके तहत युवा 5 मई से अपने आवेदन अप्लाई कर पाएंगे। ऑनलाइन आवेदन करने वाले युवा ही परीक्षा में बैठ पाएंगे। जारी नोटिफिकेशन के अनुसार 5 मई से 26 जून तक ऑनलाइन आवेदन करने की तिथि निर्धारित की गई है। वहीं, 30 जून तक फीस भरी जा सकती है।

13536 पदों पर मांगे गए हैं आवेदन
युवाओं को भी CET ग्रुप D के लिए रजिस्ट्रेशन शुरू होने का इंतजार था। जारी नोटिफिकेशन के अनुसार विभिन्न विभागों में करीब 13536 पदों के लिए ये आवेदन मांगे जा रहे हैं। जिसके लिए युवाओं की आयु सीमा 18 से 42 वर्ष तक होनी चाहिए। युवा 10वीं पास हो या उसके समकक्ष बोर्ड से डिग्री हो।
June 01, 2023

*हरियाणा CMO में शिकायतों का अंबार:12 महीने में 70 हजार कंप्लेंट; विभागों को भेजी जा रही, पुलिस व तहसील के ज्यादा मामले*

*हरियाणा CMO में शिकायतों का अंबार:12 महीने में 70 हजार कंप्लेंट; विभागों को भेजी जा रही, पुलिस व तहसील के ज्यादा मामले*
हरियाणा सीएम मनोहर लाल खट्‌टर।
हरियाणा में मुख्यमंत्री मनोहर लाल के सोशल मीडिया ग्रीवांस ट्रैकर (SMGT) पर शिकायतों का अंबार लगा हुआ है। पिछले 12 महीनों में इसके जरिए 70 हजार शिकायतें की गईं। रोजाना 180 से 200 शिकायतों को सॉल्यूशन के लिए नोडल अधिकारियों को भेजा जा रहा है। इन शिकायतों में पुलिस और तहसील के ज्यादा मामले शामिल हैं।

नोडल अधिकारियों के साथ IT सलाहकार की मीटिंग
विभागों के नोडल अधिकारियों की मीटिंग में CM मनोहर लाल के IT सलाहकार ध्रुव मजूमदार ने बताया कि CM विंडो और एसएमजीटी का अब सफल प्रयोग रहा है। हरियाणा के लोगों की शिकायतों की बढ़ी संख्या यह दर्शाती है कि सफल कार्यान्वयन से जनता का सरकार के प्रति विश्वास बढ़ा है।

इसकी एक वजह यह भी है कि उनकी समस्याओं का तुरंत समाधान हो रहा है और उन्हें कार्यालयों के चक्कर नहीं काटने पड़ते।
इन हाउस मॉड्यूलर पर चर्चा
सीएम के आईटी सलाहकार ने मीटिंग में इन-हाउस मॉड्यूलर NIC द्वारा विकसित सॉफ्टवेयर की कार्यप्रणाली के बारे में नोडल अधिकारियों के साथ विचार-विमर्श किया। साथ ही नोडल अधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए गए, ताकि कम से कम अवधि में जनमानस की समस्याओं का निवारण हो सके।

CMO के ट्विटर हैंडल पर भी आ रही शिकायतें
मजूमदार ने बताया कि CM टेक-फ्रेंडली हैं, जो आईटी के साथ-साथ डिजिटल मीडिया की बारीकियों को भी भली-भांति समझते हैं। उनके दूरदर्शी दृष्टिकोण के कारण ही जनता को केवल एक क्लिक पर शिकायतों का समाधान मिल रहा है।

इसी विश्वास और भरोसे के साथ ही नागरिक अपनी शिकायतों को मुख्यमंत्री कार्यालय के आधिकारिक ट्विटर हैंडल तथा मुख्यमंत्री के आधिकारिक फेसबुक पेज पर टैग कर रहे हैं। यह दर्शाता है कि प्रदेश के नागरिक ‌डिजिटल प्रणाली के प्रति जागरूक बन रहे हैं।
इन विभागों की आ रही ज्यादा शिकायतें
ध्रुव मजूमदार ने बताया कि वर्ष 2022 में लगभग 70,000 शिकायतों को एसएमजीटी से विभागों के संबंधित नोडल अधिकारियों को भेजा गया। ये अल्पकालिक शिकायतें मुख्य रूप से जलभराव, बिजली, कचरा, गड्ढे, पुलिस, तहसील से संबंधित मुद्दों आदि के बारे में थीं। उन्होंने बताया कि प्रतिदिन औसतन 180-200 शिकायतें प्राप्त होती हैं, जिन्हें त्वरित कार्रवाई के लिए शिकायत की प्रकृति के आधार पर जिलों और विभागों को भेजा जाता है।

हर शिकायत का टिकट जारी होगा
एनआईसी द्वारा विकसित एसएमजीटी सॉफ्टवेयर की अनूठी विशेषताओं पर प्रकाश डालते हुए मजूमदार ने कहा कि अब हर नई शिकायत के लिए एक विशिष्ट आंतरिक टिकट जारी किया जाएगा जो शिकायत के समाधान तक नहीं बदलेगा। उन्होंने कहा कि यदि शिकायतकर्ता संतुष्ट नहीं होता है तो शिकायत फिर से विभाग के संबंधित अधिकारी को भेजी जाएगी। यह तंत्र चौबीसों घंटे लोगों की सहायता करता है।
June 01, 2023

*कैथल में किसानों की बैठक, सरकार का पुतला जलाया:पहलवानों के समर्थन में 4 को सोनीपत महापंचायत में भाग लेने जाएंगे*

*कैथल में किसानों की बैठक, सरकार का पुतला जलाया:पहलवानों के समर्थन में 4 को सोनीपत महापंचायत में भाग लेने जाएंगे*
पहलवानों के समर्थन में 4 को सोनीपत महापंचायत में भाग लेने जाएंगे|
कैथल में बैठक में शामिल किसान।
हरियाणा के कैथल में गुरुवार को विभिन्न संगठनों ने प्रदर्शन कर पहलवानों के आंदोलन को समर्थन देने का ऐलान किया। इस बीच किसानों ने कहा कि वे 4 जून को सोनीपत के मुंडलाना में होने वाली किसान महापंचायत में शामिल होंगे।

किसानों ने पूंडरी के किसान भवन में इसको लेकर एक बैठक की। इसकी अध्यक्षता पूंडरी के ब्लॉक प्रधान रणधीर बरसाना ने की। इसमें युवा प्रदेशाध्यक्ष विक्रम कसाना एडवोकेट, जिलाध्यक्ष महावीर चहल नरड व कार्यकारी अध्यक्ष गुरनाम सिंह फरल ने विशेष रूप से मौजूद थे। किसानों ने सरकार के खिलाफ नारेबाजी की

कसाना ने कहा कि चार जून को सोनीपत के मुंडलाना में महिला खिलाड़ियों को समर्थन दिया जाएगा। इस महापंचायत में जिले से भाकियू के किसान बढ़-चढ़कर हिस्सा लेंगे। जिला प्रधान महावीर चहल नरड व गुरनाम सिंह फरल ने कहा कि जन तांत्रिक अधिकारों को कूचलने वाली सरकार को जनता सबक सिखाने के लिए तैयार बैठी है।

भाकियू चढूनी तब तक खिलाड़ियों के हर आंदोलन में कंधे से कंधा मिलाकर चलती रहेगी। जब तक खिलाड़ियों के साथ इंसाफ नहीं हो जाता। बेटियों के सम्मान की इस लड़ाई में चार जून की महापंचायत मे कठोर फैसला लिया जाएगा। बेटियों को न्याय मिलने तक संघर्ष जारी रहेगा।

*सरकार का पुतला जलाया*

वहीं, सांझा मंच, किसान, मजदूर व जनवादी संगठनों ने लघु सचिवालय में प्रदर्शन कर महिला पहलवानों के समर्थन में सरकार का का पुतला फूंका। इस दौरान संगठनों के सदस्यों ने राष्ट्रपति के नाम तहसीलदार को ज्ञापन भी सौंपा। किसान सभा के नेता महेंद्र सिंह, भारतीय किसान यूनियन रतनमान के महेंद्र सिंह ने कहा कि महिला पहलवान 23 अप्रैल 2023 से दिल्ली के जंतर मंतर पर धरना दे रही है।

जब केंद्र सरकार जनवरी 2023 में आरोपी सांसद के खिलाफ जांच करने और आवश्यक कदम उठाने के लिए खिलाड़ियों से किए अपने वादे को पूरा करने में विफल रही तो खिलाड़ियों ने भारत के सर्वोच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाना पड़ा। न्यायालय ने मामले की सुनवाई शुरू करने के बाद ही दिल्ली पुलिस ने केस दर्ज किया है। सरकार खिलाड़ियों के साथ अन्याय कर रही है। सभी संगठन महिला खिलाड़ियों के साथ खड़े हैं।
June 01, 2023

*नेपाल-भारत के बीच तेजी से बनेगा रामायण सर्किट:PM मोदी ने कहा- रिश्ते हिट से सुपरहिट बनाएंगे; प्रचंड बोले- सीमा विवाद बातचीत से सुलझाएंगे*

*नेपाल-भारत के बीच तेजी से बनेगा रामायण सर्किट:PM मोदी ने कहा- रिश्ते हिट से सुपरहिट बनाएंगे; प्रचंड बोले- सीमा विवाद बातचीत से सुलझाएंगे*
नेपाल के PM प्रचंड ने प्रधानमंत्री मोदी के साथ हैदराबाद हाउस में द्विपक्षीय बैठक की। इसके बाद दोनों नेताओं ने प्रेस कॉन्फ्रेंस भी की।
भारत और नेपाल के बीच प्रस्तावित रामायण सर्किट के काम में तेजी लाई जाएगी। भारत पहुंचे नेपाल के प्रधानमंत्री पुष्प कमल दहल प्रचंड और PM मोदी से मुलाकात में यह फैसला हुआ। बातचीत के बाद PM मोदी ने कहा- दोनों देशों के बीच रामायण सर्किट का काम तेजी से पूरी किया जाएगा।

प्रधानमंत्री बोले- मैंने और PM प्रचंड ने नेपाल-भारत की पार्टनरशिप को हिट से सुपरहिट बनाने के लिए कई महत्वपूर्ण फैसले किए हैं। इसके अलावा दोनों नेताओं ने भारत-नेपाल के बीच नेबरहुड फर्स्ट पॉलिसी पर भी चर्चा की। इस दौरान हाइड्रो-पावर डेवलेपमेंट, एग्रीकल्चर और कनेक्टिविटी जैसे मुद्दों पर बात हुई।

प्रेस कॉन्फ्रेंस में नेपाल के PM प्रचंड ने कहा- मेरी मोदी जी से सीमा विवाद को लेकर भी चर्चा हुई। मैं उनसे अपील करता हूं कि इस मामले को द्विपक्षीय बातचीत के जरिए सुलझाया जाए। वहीं PM प्रचंड ने प्रधानमंत्री मोदी को नेपाल आने का न्योता दिया। दोनों नेताओं के बीच हैदराबाद हाउस में बैठक हुई थी।
इस फुटेज में नेपाल के PM प्रचंड और प्रधानमंत्री मोदी बैठक करते नजर आ रहे हैं।
नेपाल के लोगों के लिए नए रेल रूट्स शुरू होंगे
मैंने 2014 में नेपाल की पहली यात्रा की थी। तब मैंने एक HIT यानी हिट फॉर्मुला दिया था। इसमें हाई-वे, आई-वे और ट्रान्स -वे शामिल थे। मैंने कहा था कि हमारे बॉर्डर दोनों देशों के रिश्तों में बैरियर नहीं बनने चाहिए। आज मैं कह सकता हूं कि हमारे संबंध हिट हैं। नेपाल के लोगों के लिए नए रेल रूट्स शुरू किए जाएंगे। इसके अलावा वहां के रेलकर्मियों को ट्रेनिंग भी दी जाएगी।

नेपाल के PM प्रचंड ने कहा- मैं चौथी बार भारत दौरे पर आया हूं। मैं PM मोदी को भारत की सत्ता में 9 साल पूरे करने की बधाई देता हूं। उनकी लीडरशिप में भारत में इकोनॉमी सहित सभी क्षेत्रों में तेजी से विकास हुआ है। आज भारत और नेपाल के बीच संबंधों को आगे बढ़ाने के लिए कई महत्वपूर्ण समझौते हुए हैं।
फुटेज में नेपाल के प्रधानमंत्री प्रचंड PM मोदी से मुलाकात करते नजर आ रहे हैं।
बतौर प्रधानमंत्री प्रचंड का चौथा भारत दौरा
इससे पहले गुरुवार को PM प्रचंड ने राजघाट पहुंचकर महात्मा गांधी को श्रद्धांजलि दी थी। प्रचंड दोपहर बाद राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू और उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ से भी मुलाकात करेंगे। नेपाल के प्रधानमंत्री के तौर पर प्रचंड का ये चौथा भारत दौरा है। बुधवार को वो दोपहर करीब 3 बजे भारत पहुंचे थे।

भारत की संस्कृति राज्य मंत्री मीनाक्षी लेखी ने उनका स्वागत किया था। प्रचंड नई दिल्ली में नेपाल-भारत बिजनेस समिट को भी संबोधित करेंगे। वो भारत में मौजूद नेपाली समुदाय के लोगों से भी मुलाकात करेंगे।
PM प्रचंड ने राजघाट पहुंचकर महात्मा गांधी को श्रद्धांजलि दी।
दौरे के आखिरी दिन इंदौर जाएंगे नेपाल के PM
इसके बाद 3 जून को वो एक कार्यक्रम के लिए इंदौर जाएंगे। इसके बाद नेपाली PM के महाकाली की नगरी उज्जैन जाने की भी संभावना है। नेपाल के PM इससे पहले मई में भारत आने वाले थे लेकिन कैबिनेट विस्तार के चलते उन्होंने यात्रा टाल दी थी। नेपाल में परंपरा है कि जो भी नेता वहां का प्रधानमंत्री बनता है वो अपने विदेशी यात्राओं की शुरुआत भारत से ही करता है।

हालांकि, 2008 में राजशाही खत्म होने के बाद जब प्रचंड PM बने थे तो वो सबसे पहले चीन पहुंच थे। पिछले साल दिसंबर में पुष्प कमल दहल प्रचंड तीसरी बार नेपाल का प्रधानमंत्री बने थे। इससे पहले वो 2008 से 2009 और दूसरी बार 2016 से 2017 में प्रधानमंत्री बन चुके हैं।

बुधवार को दिल्ली पहुंचने पर भारत की संस्कृति राज्य मंत्री मीनाक्षी लेखी ने प्रधानमंत्री प्रचंड का स्वागत किया।
कई बार भारत विरोधी बयान दे चुके हैं प्रचंड
प्रचंड को चीन का करीबी माना जाता है। उन्होंने कई बार भारत विरोधी बयान भी दिए हैं। दरअसल प्रचंड को 2009 में PM पद से इस्तीफा देने पड़ा था, जिसकी वजह वो भारत को मानते हैं। प्रचंड ने नेपाल आर्मी चीफ रुकमंगड़ कटवाल को पद से हटा दिया था, भारत इसके खिलाफ था। भारत के गतिरोध के बीच उन्हें इस्तीफा देने पड़ा।
इसके बाद उनकी नजदीकियां चीन से बढ़ने लगीं। इस्तीफे के बाद वो कई बार चीन के निजी दौरे पर गए। प्रचंड ने कहा था कि भारत और नेपाल के बीच जो भी समझौते हुए हैं, उन्हें खत्म कर देना चाहिए। 2016-2017 में भी प्रचंड के हाथ में सरकार की कमान रही। इस दौरान उन्होंने कहा था- नेपाल अब वो नहीं करेगा, जो भारत कहेगा।

तस्वीर 2017 की है जब नेपाल के PM प्रचंड ने बीजिंग में चीन के राष्ट्रपति जिनपिंग से मुलाकात की थी।
नेपाल-भारत के बीच सीमा विवाद
पिछले साल अक्टूबर में नेपाल सरकार ने दोनों देशों की सीमा के पास भारत में बन रही एक सड़क के चौड़ीकरण पर आपत्ति जताई थी। यह सड़क बिहार के सीतामढ़ी शहर के कई इलाकों को नेपाल बॉर्डर पर भिठ्ठामोड़ और जनकपुर से जोड़ती है। इससे पहले उत्तराखंड के लिपुलेख में भारत की सड़क लंबी करने की घोषणा को लेकर नेपाल ने भारत को चेतावनी जारी करते हुए इसे तुरंत रोकने को कहा था। नेपाल उत्तराखंड स्थित लिपुलेख को अपना इलाका बता चुका है।
दिसंबर 1815 में ब्रिटिश इंडिया और नेपाल के बीच एक संधि हुई थी, जिसे सुगौली संधि के नाम से जाना जाता है। इस संधि पर हस्ताक्षर तो दिसंबर 1815 में हो गए थे, लेकिन ये संधि अमल में 4 मार्च 1816 से आई। उस समय भारत पर अंग्रेजों का कब्जा था। इस संधि पर ईस्ट इंडिया कंपनी की तरफ से लेफ्टिनेंट कर्नल पेरिस ब्रेडश और नेपाल की ओर से राजगुरु गजराज मिश्र ने हस्ताक्षर किए।

सुगौली संधि में ये तो तय हो गया कि नेपाल की सरहद पश्चिम में महाकाली और पूरब में मैची नदी तक होगी, लेकिन इसमें नेपाल की सीमा तय नहीं हुई थी। इसका नतीजा ये हुआ कि आज भी 54 ऐसी जगहें हैं, जिनको लेकर दोनों देशों के बीच विवाद होता रहता है।
June 01, 2023

*हरियाणा में HCS रिजल्ट पर HC की रोक:कहा- याचिकाकर्ताओं की बात सुने सरकार, उनकी एप्लिकेशन पर भी ले फैसला*

*हरियाणा में HCS रिजल्ट पर HC की रोक:कहा- याचिकाकर्ताओं की बात सुने सरकार, उनकी एप्लिकेशन पर भी ले फैसला*
कहा- याचिकाकर्ताओं की बात सुने सरकार, उनकी एप्लिकेशन पर भी ले फैसला|
HSC पेपर कॉपी का मामला पंजाब हरियाणा हाईकोर्ट में पहुंच गया है। इस मामले में सुनवाई के बाद कोर्ट ने कहा है कि याचिकाकर्ताओं की बात को सुना जाए और उनकी एप्लिकेशन पर फैसला लिया जाए। जब तक याचिकाकर्ताओं की एप्लिकेशन पेंडिंग है तब तक HCS-CSAT का रिजल्ट डिक्लेयर नहीं किया जाएगा। हरियाणा सरकार की ओर से महाधिवक्ता पेश हुए थे।

इस परीक्षा में 32 सवाल पिछली बार के पेपर से कॉपी करने का आरोप लगाते हुए हाईकोर्ट से इस मामले में दखल की मांग की गई है।

*याचिका में एग्जाम रद करने की मांग*

जींद निवासी अंकुर कुमार व अन्य ने हाईकोर्ट में याचिका दाखिल करते हुए सिविल सर्विस एप्टीट्यूड टेस्ट में एक तिहाई प्रश्न कॉपी करने का आरोप लगाते हुए परीक्षा रद्द करने की मांग की है। याचिका में बताया गया कि इस प्रकार प्रश्नों को कॉपी कर इस बार की परीक्षा में शामिल करना गलत है और यदि इस परीक्षा के परिणाम के आधार पर नियुक्तियां की गईं तो यह मेधावी आवेदकों के साथ अन्याय होगा।

*सुप्रीम कोर्ट के फैसले का दिया हवाला*

याचिका में हाईकोर्ट और सुप्रीम कोर्ट के कई मामलों का हवाला दिया गया है। याचिका में हरियाणा लोक सेवा आयोग (एचपीएससी) द्वारा एचसीएस की भर्ती के लिए फरवरी में जारी विज्ञापन में विरोधाभासी निर्देश को लेकर भी सवाल खड़े किए हैं। याचिका अभी हाईकोर्ट की रजिस्ट्री में फाइल की गई थी। इस मामले में आज सुनवाई के लिए सूचीबद्ध किया गया था।

*अटैची कांड का दिया हवाला*

कांग्रेस नेता और राज्यसभा सांसद रणदीप सुरजेवाला ने इस मामले पर सवाल उठा चुके हैं। उन्होंने कहा था कि नौकरियों में भर्ती घोटालों के चलते HSSC के ‘अटैची कांड’ का भंडाफोड़ हो जाने के बाद HPSC ने पर्चा लीक करने की यह नई तकनीक ईजाद की है। खट्टर सरकार को उन 93,000 युवाओं से तुरंत माफी मांगनी चाहिए, जिन्होंने उनके पारदर्शिता के झूठे नारों पर विश्वास करके परीक्षा का फॉर्म भरा था। इस परीक्षा को तुरंत रद्द करके दुबारा पेपर करवाया जाए।

*HC के सिटिंग जज करें जांच*

सुरजेवाला ने मांग की कि HPSC तथा भ्रष्ट आयोग को बर्खास्त करके उच्च न्यायालय के सिटिंग जज से साढ़े 8 साल में इनके घोटालों की जांच करवाने की मांग कर चुके हैं। पिछली बार HSSC का डिप्टी सेक्रेटरी अनिल नागर रुपए की भरी अटैची और अभ्यर्थियों की OMR शीट के साथ पकड़ा गया था। उस समय तो खट्टर साहब की विजिलेंस ने अकेले अनिल नागर को बलि का बकरा बनाकर सरकार की बाकी सभी बड़ी मछलियों को बचा लिया था।
June 01, 2023

*मणिपुर हिंसा की जांच CBI-ज्यूडिशियल कमीशन करेंगे:शाह बोले- कल से सर्च ऑपरेशन, किसी के पास हथियार मिले तो सख्त एक्शन होगा*

*मणिपुर हिंसा की जांच CBI-ज्यूडिशियल कमीशन करेंगे:शाह बोले- कल से सर्च ऑपरेशन, किसी के पास हथियार मिले तो सख्त एक्शन होगा*
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने बुधवार को मणिपुर के इंफाल में मैतेई राहत शिविर का दौरा किया।
गृह मंत्री अमित शाह ने गुरुवार को कहा कि मणिपुर हिंसा की वजह गलतफहमी है। उन्होंने बताया कि हाईकोर्ट के रिटायर्ड जज की अध्यक्षता में कमीशन हिंसा की जांच करेगी। CBI भी हिंसा से जुड़े केस की जांच करेगी कल से सर्च ऑपरेशन भी शुरू हो जाएगा। अगर किसी के पास हथियार मिले तो कड़ी कार्रवाई की जाएगी।

शाह मणिपुर के 4 दिन के दौरे पर हैं और आज उनके दौरे का आखिरी दिन है। उन्होंने कहा- हिंसा में मारे गए लोगों को 5 लाख मणिपुर सरकार और 5 लाख केंद्र सरकार देगी।
शाह ने बुधवार को इंफाल में एक राहत शिविर का दौरा किया। यहां मैतेई समुदाय के लोग रह रहे हैं। उन्होंने लोगों से कहा कि मणिपुर में जल्द शांति बहाल होगी। जल्द की लोगों की घरों में वापसी सुनिश्चित की जाएगी।

शाह ने कुकी समुदाय के संगठनों के साथ भी बैठक की थी। उन्होंने अधिकारियों से कहा था कि मणिपुर की शांति सर्वोच्च प्राथमिकता है। शांति बहाली के लिए जल्द से जल्द कदम उठाए जाएं।
अमित शाह बुधवार को म्यांमार बॉर्डर से लगे मोरेह शहर पहुंचे और सुरक्षाबलों से हालात की जानकारी ली।
सीएम के साथ कर चुके मीटिंग, 10-10 लाख रुपए की सहायता राशि का ऐलान
29 मई को मणिपुर की राजधानी इंफाल पहुंचते ही अमित शाह ने सबसे पहले मुख्यमंत्री एन बीरेन सिंह, मंत्रियों और अधिकारियों के साथ मीटिंग की। इस बैठक में केंद्रीय गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय, केंद्रीय गृह सचिव अजय भल्ला और इंटेलिजेंस ब्यूरो के चीफ तपन डेका भी मौजूद थे।

शाह ने हिंसा में मारे गए लोगों के परिजनों को 10-10 लाख रुपए की सहायता राशि और परिवार के एक सदस्य को नौकरी देने की घोषणा की। उन्होंने राज्य में राशन और तेल जैसी जरूरी चीजों की सप्लाई को बेहतर करने के भी निर्देश दिए।
अमित शाह ने हिंसा में मारे गए लोगों के परिजनों को 10-10 लाख रुपए की सहायता राशि और परिवार के एक सदस्य को नौकरी देने की घोषणा की है।
चानू समेत 11 खिलाड़ियों ने मेडल लौटाने की बात कही
मणिपुर में करीब एक महीने से जारी हिंसा के बीच ओलिंपिक पदक विजेता मीराबाई चानू सहित राज्य की 11 खेल हस्तियों ने गृह मंत्री अमित शाह को लेटर लिखकर राज्य में जल्द शांति बहाल करने की मांग की है। इन्होंने कहा है कि अगर स्थिति सामान्य नहीं हुई तो वे अपने अवॉर्ड और मेडल लौटा देंगे।

लेटर पर दस्तखत करने वालों में मीराबाई चानू, पद्म पुरस्कार विजेता वेटलिफ्टर कुंजारानी देवी, पूर्व भारतीय महिला फुटबॉल टीम की कप्तान बेम बेम देवी और मुक्केबाज एल सरिता देवी शामिल हैं।

CDS बोले- यह जातीय हिंसा, उग्रवाद नहीं
इधर, चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ (CDS) जनरल अनिल चौहान ने मंगलवार को पुणे में कहा कि मणिपुर में हालात सामान्य होने में थोड़ा वक्त लगेगा। जनरल चौहान ने कहा- राज्य में हिंसा दो जातियों के बीच संघर्ष का परिणाम है। इसका उग्रवाद से कोई लेना-देना नहीं है। यह कानून-व्यवस्था का मामला है। हम राज्य सरकार की मदद कर रहे हैं।
28 मई को मुख्यमंत्री एन बीरेन सिंह ने बताया था कि राज्य में हिंसा शुरू होने के बाद पुलिस एनकाउंटर में 40 लोग मारे गए हैं। CM ने इन्हें मिलिटेंट बताया था।

CDS जनरल अनिल चौहान मंगलवार को पुणे में NDA के 144वें कोर्स की पासिंग आउट परेड में शामिल हुए थे। यहां उन्होंने मणिपुर हिंसा को लेकर बात की।
हिंसा के चलते अब तक 80 लोगों की जान गई
मणिपुर में 3 मई से हिंसा जारी है। राजधानी इंफाल से लगे सेरौ और सुगनू इलाके में रविवार को हिंसक झड़प हुई थी। इसमें 1 पुलिसकर्मी समेत 5 लोगों की मौत हो गई, जबकि 12 घायल हुए हैं। राज्य में हिंसा के चलते अब तक करीब 80 लोगों की जान गई है।

सेना ने 2,000 ग्रामीणों को सुरक्षित निकाला
ताजा हिंसा के बाद सेना और असम राइफल्स ने 28 मई को एक बड़ा रेस्क्यू अभियान चलाया। जिसमें कुकी जनजाति और मेइती समुदाय के ग्रामीणों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाने में मदद की।

सेना और अर्धसैनिक बलों ने पुलिस, राज्य प्रशासन और नागरिक समाज संगठनों के साथ मिलकर सेरो से मैतेई समुदाय के लगभग 2,000 ग्रामीणों को निकाला और उन्हें पंगलताबी राहत शिविर ले गए। इसी तरह कुकी जनजाति के लगभग 328 ग्रामीणों को सुरक्षित रूप से सुगनू से साजिक तंपक पहुंचाया गया।

4 पॉइंट्स में जानिए, पूरा विवाद...

1. मणिपुर में आधी आबादी मैतेई समुदाय की
मणिपुर की लगभग 38 लाख की आबादी में से आधे से ज्यादा मैतेई समुदाय के लोग हैं। मणिपुर के लगभग 10% क्षेत्रफल में फैली इंफाल घाटी मैतेई समुदाय बहुल है।

हाल ही में मणिपुर हाईकोर्ट ने राज्य सरकार को मैतेई समुदाय को अनुसूचित जनजाति (एसटी) में शामिल करने पर विचार करने के आदेश जारी किए हैं।

2. मैतेई समुदाय आरक्षण क्यों मांग रहा है
मैतेई समुदाय के लोगों का तर्क है कि 1949 में भारतीय संघ में विलय से पूर्व उन्हें रियासतकाल में जनजाति का दर्जा प्राप्त था। पिछले 70 साल में मैतेई आबादी 62 फीसदी से घटकर लगभग 50 फीसदी के आसपास रह गई है। अपनी सांस्कृतिक पहचान के लिए मैतेई समुदाय आरक्षण मांग रहा है।

3. नगा-कुकी जनजाति आरक्षण के विरोध में
मणिपुर की नगा और कुकी जनजाति मैतेई समुदाय को आरक्षण देने के विरोध में हैं। राज्य के 90% क्षेत्र में रहने वाला नगा और कुकी राज्य की आबादी का 34% हैं।

इनका कहना है कि राज्य की 60 में से 40 विधानसभा सीट पहले से मैतेई बहुल इंफाल घाटी में हैं। राजनीतिक रूप से मैतेई समुदाय का पहले से ही मणिपुर में दबदबा है।

नगा और कुकी जनजातियों को आशंका है कि एसटी वर्ग में मैतेई को आरक्षण मिलने से उनके अधिकारों में बंटवारा होगा। मौजूदा कानून के अनुसार मैतेई समुदाय को राज्य के पहाड़ी इलाकों में बसने की इजाजत नहीं है।

4. हालिया हिंसा का कारण आरक्षण मुद्दा
मणिपुर में हालिया हिंसा का कारण मैतेई आरक्षण को माना जा सकता है। पिछले साल अगस्त में मुख्यमंत्री बीरेन सिंह की सरकार ने चूराचांदपुर के वनक्षेत्र में बसे नगा और कुकी जनजाति को घुसपैठिए बताते हुए वहां से निकालने के आदेश दिए थे। इससे नगा-कुकी नाराज चल रहे थे। मैतेई हिंदू धर्मावलंबी हैं, जबकि एसटी वर्ग के अधिकांश नगा और कुकी ईसाई धर्म को मानने वाले हैं।