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Monday, December 7, 2020

December 07, 2020

मनुष्य जन्म सद कर्मो का फल होता है: स्वामी आर्यवेश

मनुष्य जन्म सद कर्मो का फल होता है: स्वामी आर्यवेश

जींद : ( संजय तिरँगाधारी ) जनहित  विकास  परिषद हरियाणा द्वारा अंतरराष्ट्रीय समाज सेवा दिवस को पर्यावरण मित्र एवं वृद्ध सम्मान समारोह के रूप में मनाया गया। जिसकी अध्यक्षता स्वामी आर्यवेश जी ने की। उन्होंने अपने उद्बोधन में कहा की मनुष्य जन्म सद कर्मो का फल होता है। मानव जाति मे जन्म लेकर सदा अच्छे कार्य करने चाहिए। ताकि ये जीवन सफल हो सके। हमे अपने बुजर्गो की सेवा करनी चाहिए उनके विचारों को अमल करना चाहिए यही सच्ची सेवा है। संस्था  के  संयोजक  केवल सिंह  जुलानी  ने  बताया की इस तरह के  कार्यक्रम में पर्यावरण मित्रों एवं बुजुर्गो का विशेष सम्मान किया गया है ताकि समाज मे जागरूकता आए। कार्यक्रम में सहदेव समर्पित  सूर्यदेव आर्य, वीरेंद्र आर्य,  धर्मराज जागलान व वीरेन्द्र  कौशिक  ने भी अपने विचार व्यक्त किए इस अवसर पर  बडे बुजुर्गों  व जरूरतमंदो को सम्मान  स्वरूप कंबल भेंट किए गए  दस उन लोगों  को भी सम्मानित  किया जिन्होंने त्रिवेणी  लगाई  है । इस अवसर पर सत्यवान सांगवान, जयवीर झांज कला, हरपाल मोर, वीरेंद्र कौशिक, मगल सिंह गिल, देवेंद्र आर्य, रविन्द्र कुमार आदि का विशेष सहयोग रहा।

Tuesday, November 17, 2020

November 17, 2020

कक्षाएं शुरू:निदेशालय ने जारी की गाइडलाइन, कॉलेजों में लगेंगी नियमित कक्षाएं, माता-पिता से लाना होगा अनुमति पत्र

कक्षाएं शुरू:निदेशालय ने जारी की गाइडलाइन, कॉलेजों में लगेंगी नियमित कक्षाएं, माता-पिता से लाना होगा अनुमति पत्र

जींद : उच्चतर शिक्षा निदेशालय ने एक बार फिर कॉलेजों में कक्षाएं लगाने को लेकर अपनी स्थिति स्पष्ट कर दी है। अब नियमित से कॉलेजों में कक्षाएं लगेंगी। इसके लिए कॉलेज में आने वाले विद्यार्थियों को अपने *माता-पिता से हस्ताक्षरित अनुमति पत्र लाना होगा।*
उसके बाद ही कॉलेज में कक्षाएं लगाने की अनुमति विद्यार्थियों को मिलेगी। इसके अलावा कॉलेज में केवल उन्हीं विद्यार्थियों को एंट्री दी जाएगी, जो मास्क लगाकर आएंगे। बिना मास्क आने वाले विद्यार्थियों की एंट्री नहीं होगी। विद्यार्थी चाहे तो पानी की बोतल भी साथ ला सकेंगे। इसके अलावा कॉलेजों को सेनिटाइज कराने का काम किया जा रहा है। साथ ही तापमान चेक करने के लिए स्क्रीनिंग मशीनों की व्यवस्था कर ली गई है।
सोशल डिस्टेंस का पालन करके कॉलेजों में कक्षाएं लगाई जाएंगी। उच्चतर शिक्षा निदेशालय ने इसके लिए सभी कॉलेज प्रिंसिपल और विश्वविद्यालयों को पत्र जारी कर दिया है। कॉलेजों को कोविड-19 के नियमों के तहत कक्षाएं लगाने के निर्देश दिए गए हैं।
हालांकि अब भी कॉलेजों में विद्यार्थियों की उपस्थिति नाममात्र की है। कॉलेजों द्वारा ऑनलाइन क्लासेज भी लगाई जा रही है।

*प्रतिदिन की हाजिरी करनी होगी अपलोड*

उच्चतर शिक्षा निदेशालय ने सोमवार को निर्देश जारी किए हैं कि अब संबंधित कॉलेज आने वाले विद्यार्थियों की हाजिरी ईआरपी पोर्टल पर दोपहर तीन बजे तक प्रतिदिन अपलोड करेंगे। इससे पता चल सकेगा कि कॉलेज में कितने विद्यार्थी प्रतिदिन आ रहे हैं।

*जल्द बनाया जाएगा स्टूडेंट अटेंडेंस पोर्टल* : 

उच्चतर शिक्षा निदेशालय द्वारा जल्द ही स्टूडेंट अटेंडेंस पोर्टल पर भी लांच किया जाएगा। इस पर छात्रों की हाजिरी भरी जा सकेगी।

पहले दिन छात्र संख्या कम थी

कॉलेजों में नियमित कक्षाएं लगनी शुरू हो गई हैं। पहला दिन होने के कारण छात्र संख्या कम थी, लेकिन मंगलवार से नियमित कक्षाएं कोविड-19 के नियमों का पालन करते हुए लगाई जाएंगी। छात्राओं को आने से पहले उन्हें माता-पिता से अनुमति पत्र लाने को कहा गया है, जिसे ग्रुपों में भेज दिया गया है। डॉ. मंजूलता रेढू, प्रिंसिपल, राजकीय महिला कॉलेज, पिल्लूखेड़ा।

Wednesday, November 11, 2020

November 11, 2020

हाईकोर्ट ने 816 चयनित आर्ट एंड क्राफ्ट शिक्षकों को दिया बड़ा झटका, भर्ती रद

हाईकोर्ट ने 816 चयनित आर्ट एंड क्राफ्ट शिक्षकों को दिया बड़ा झटका, भर्ती रद

चंडीगढ : पंजाब-हरियाणा हाईकोर्ट ने 816 चयनित आर्ट एंड क्राफ्ट शिक्षकों को बड़ा झटका देते हुए सिंगल बेंच के उस आदेश पर मोहर लगा दी है जिसके तहत सिंगल बेंच ने भर्ती को रद करने का आदेश दिया था।
याचिका दाखिाल करते हुए विनोद कुमार व अन्य ने हाईकोर्ट की खंडपीठ को बताया कि हरियाणा स्कूली शिक्षा विभाग ने आर्ट एंड क्रफ्ट शिक्षकों के 816 पदों केलिए 2006 में आवेदन मांगा था। इसके अनुरूप बड़ी संख्या में आवेदन पहुंचे। इसके बाद हरियाणा कर्मचारी चयन आयोग ने भर्ती के लिए परीक्षा आयोजित करने का निर्णय लिया। जुलाई 2008 में परीक्षा की तारीख तय की गई और इसके बाद इंटरव्यू की तारीखें तय की गई। इस सब के बीच एक बार फिर से आयोग ने फैसला बदल लिया और शैक्षणिक योग्यता के अनुसार पदों से 8 गुना आवेदकों को इंटरव्यू के लिए बुलाने का निर्णय लिया।

हैरानी की बात यह रही कि आयोग ने एक बार फिर से अपने निर्णय को बदल लिया और सभी आवेदकों को इंटरव्यू के लिए बुलाने का निर्णय लिया। सिंगल बेंच ने भर्ती में असफल रहे आवेदकों की याचिका पर सुनवाई करते हुए इस भर्ती प्रक्रिया को चुनौती देने वाली याचिका मंजूर कर भर्ती प्रक्रिया को नए सिरे से आयोजित करने के आदेश दिए थे। इस आदेश को अब खंडपीठ के समक्ष चुनौती दी थी। खंडपीठ ने कहा कि इस मामले में सिंगल बेंच के आदेश में कोई खामी नजर नहीं आती है। ऐसे में याचिकाकर्ताओं को राहत नहीं दी जा सकती है। इस बीच याचिकाकर्ताओं ने हाईकोर्ट से अपील की कि जब तक नई भर्ती नहीं हो जाती है तब तक उन्हें काम करने की अनुमति दी जाए। हाईकोर्ट ने इस मांग को खारिज कर दिया। 
November 11, 2020

आईपीएल 2020 हरियाणा की नजर से रिव्यू:1.29 करोड़ में 1 विकेट लेने वाले सबसे महंगे कमिंस के मुकाबले चहल ने महज साढ़े 28 लाख की औसत की रेट से चटकाए विकेट

आईपीएल 2020 हरियाणा की नजर से रिव्यू:1.29 करोड़ में 1 विकेट लेने वाले सबसे महंगे कमिंस के मुकाबले चहल ने महज साढ़े 28 लाख की औसत की रेट से चटकाए विकेट

नई दिल्ली : आईपीएल का 13वां सीजन खत्म हो गया है। विजेता भले ही मुंबई इंडियंस टीम रही हो, पर हरियाणा ने भी झंडे कम नहीं गाड़े। हमारे महज 9 खिलाड़ी अलग-अलग टीमों में थे, पर उम्दा प्रदर्शन के चलते वे चर्चा में रहे। नीलामी में जिन तीन खिलाड़ियों की सबसे ज्यादा बोली लगी थी, उनसे तुलना करें तो हरियाणा के कम कीमत वाले खिलाड़ियों का प्रदर्शन ज्यादा अच्छा रहा।
1.29 करोड़ रुपए की दर से विकेट वाले सबसे महंगे रहे कमिंस के मुकाबले जींद के युजवेंद्र चहल ने महज साढ़े 28 लाख की औसत रेट से विकेट चटकाए। फरीदाबाद के राहुल तेवतिया ने जहांं अपने पदर्शन से सभी को चौंकाया तो करनाल के नवदीप सैनी सबसे तेज भारतीय गेंदबाज रहे। दिल्ली की टीम में शामिल मोहित शर्मा मैदान पर नहीं उतरे तो अमित मिश्रा 3 मैच के बाद ही चोटिल होकर बाहर हो गए।
इस बार की सबसे महंगी बोली वाले खिलाडि़यों का प्रदर्शन
1. पैट कमिंस ऑस्ट्रेलियाई पेसर। इन्हें कोलकाता नाइटराइडर्स ने 15.50 करोड़ रुपए में खरीदा था। 14 मैचों में 12 विकेट लिए। इनका 1 विकेट लगभग 1 करोड़ 29 लाख रुपए का पड़ा।
2. ग्लेन मैक्सवेल ऑस्ट्रेलिया के ऑलराउंडर। इन्हें किंग्स इलेवन पंजाब ने 10.75 करोड़ में खरीदा। 13 मैचों में 108 रन बनाए। इनका एक रन लगभग पौने दस लाख रुपए का पड़ा।
3. क्रिस मॉरिस को रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु ने 10 करोड़ में खरीदा था। इन्होंने 9 मैचों में 11 विकेट लिए। ऐसे में इनका एक विकेट 90 लाख से अधिक का पड़ा।

*यजुवेंद्र*: टॉप 4 गेंदबाजों में स्थान

जींद के यजुवेंद्र चहल। आरसीबी के सबसे बड़े विकेट टेकर। प्राइस 6 करोड़। 15 मैच में 21 विकेट झटके। सीजन में विकेट लेने में चौथे व इंडियन गेंदबाजों में दूसरे क्रिकेटर। इनका एक विकेट 28.57 लाख रुपए का पड़ा।
*नवदीप सैनी*: सबसे तेज फेंकी
करनाल के नवदीप सैनी। आरसीबी में 3 करोड़ में खरीदा था। इन्होंने भारतीय गेंदबाजों में सबसे तेज 149.3 किमी प्रति घंटा की स्पीड वाली गेंद डाली। 13 मैचों में 6 विकेट लिए। 3 पारियों में 27 रन बनाए। 1 विकेट 50 लाख की पड़ी।
*तेवतिया*: 255 रन व 10 विकेट
फरीदाबाद के राहुल तेवतिया। पंजाब के खिलाफ एक ओवर में 5 छक्के मारकर राजस्थान को जीत दिलाई। 14 मैचों में 10 विकेट लिए। 11 पारियों में 255 रन बनाए। एक रन 1.17 लाख व 1 विकेट 30 लाख की पड़ी।
*दीपक हुड्डा*: किफायती खिलाड़ी
रोहतक के दीपक हुड्डा पंजाब से अंतिम 7 मैच खेले। 50 लाख रुपए थी कीमत। 5 पारियों में 101 रन बनाए। इनका एक रन केवल 49504 रु. का पड़ा। 4 पारियों में नॉट आउट रहे। बल्लेबाजी औसत सबसे बेहतर 101 रहा।
*1 खिलाड़ी उतरा ही नहीं, एक चोटिल*
*शहजाद अहमद*: मेवात में जन्म। आरसीबी से 2 मैच खेले। बेस प्राइस 20 लाख रुपए था। 2 विकेट झटके। इनका 1 विकेट 20 लाख रुपए का पड़ा।
*हर्षल पटेल*: जन्म गुजरात में हुआ, पर रणजी हरियाणा से खेलते हैं। दिल्ली ने 20 लाख में खरीदा था। 5 मैच में 3 विकेट लिए। एक विकेट 6.66 लाख रु. का पड़ा।
*अमित मिश्रा*: हरियाणा की रणजी टीम के कप्तान रहे मिश्रा को दिल्ली ने 4 करोड़ रु. में खरीदा था।3 मैचों में 3 विकेट लिए। 80% से कम खेले, फीस से पैसे कट सकते हैं।
*जयंत यादव*: दिल्ली से हैं, हरियाणा से रणजी खेलते हैं। इनका प्राइस 50 लाख रुपए था। मुंबई सेे 3 मैच खेले। एक विकेट लिया।
*मोहित शर्मा*: हरियाणा के मोहित शर्मा दिल्ली की टीम में थे। एक ही मैच खेले। इनका प्राइस 50 लाख रुपए था और इस एक मैच में भी केवल 1 ही विकेट ले पाए।
November 11, 2020

सरकार का बड़ा फैसला:खत्म होंगे रोडवेज कर्मियों पर दर्ज एस्मा केस, 250 की होगी पदोन्नति, यार्ड मास्टर के 82 पद स्वीकृत

सरकार का बड़ा फैसला:खत्म होंगे रोडवेज कर्मियों पर दर्ज एस्मा केस, 250 की होगी पदोन्नति, यार्ड मास्टर के 82 पद स्वीकृत

चंडीगढ़ : रोडवेज की 18 दिनों की हड़ताल के दौरान कर्मचारियों पर एस्मा के तहत दर्ज किए गए मुकद्दमे वापस होंगे। इसे लेकर परिवहन विभाग की ओर से सभी डिस्ट्रिक्ट अटॉर्नी को पत्र लिखा जा चुका है। मंगलवार को परिवहन मंत्री मूलचंद शर्मा ने रोडवेज कर्मचारी यूनियनों के प्रतिनिधियों के साथ बैठक की, जिसमें एस्मा समेत कई मुद्दों पर चर्चा हुई। उन्होंने बताया कि कर्मचारी यूनियनों की ज्यादातर मांगों को पूरा किया जा चुका है।
कोविड-19 महामारी की वजह से सबकुछ प्रभावित हुआ है, नहीं तो अब तक रोडवेज के बेड़े में 867 नई बसें और शामिल हो सकती थी। अब इलेक्ट्रिक और सीएनजी बसों पर विचार किया जा रहा है। दिसंबर तक लगभग 250 पदोन्नतियां और की जाएंगी। बस में कंडक्टर के लिए 52 नंबर जबकि स्टाफ के लिए एक नंबर सीट निर्धारित की गई है।
विभाग में यार्ड मास्टर के 82 पद स्वीकृत किए गए हैं। कर्मचारियों को म्यूचुअल ट्रांसफर की सुविधा दी गई है। दूसरे राज्यों में बस दुर्घटनाग्रस्त होने पर चालक की जमानत के बारे में भी कोई न कोई रास्ता निकाला जाएगा। विभाग में किसी भी स्तर पर भ्रष्टाचार को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। नाजिर, ड्यूटी क्लर्क और बिल्डिंग क्लर्क को छह महीने में बदलने के निर्देश दिए गए हैं। विभाग के प्रधान सचिव शत्रुजीत कपूर ने कहा कि बिना परमिट की बसों के बारे में यूनियन नेता उन्हें बता सकते हैं जिस पर तुरंत कार्रवाई की जाएगी।
November 11, 2020

एचबीएसई परीक्षा:उत्तरपुस्तिका में स्टूडेंट्स ने लिखे अजब-गजब नोट, कोई दे रहा सुसाइड की धमकी, तो किसी ने लिखा- फेल हुआ तो नहीं हो पाएगी शादी

एचबीएसई परीक्षा:उत्तरपुस्तिका में स्टूडेंट्स ने लिखे अजब-गजब नोट, कोई दे रहा सुसाइड की धमकी, तो किसी ने लिखा- फेल हुआ तो नहीं हो पाएगी शादी

हिसार : 26 और 27 अक्टूबर को आयोजित हुए एचबीएसई के ओपन, री-अपीयर व एडिशनल सब्जेक्ट के 10वीं व 12वीं की परीक्षाओं की उत्तर पुस्तिकाओं की मार्किंग में अजब-गजब किस्से सामने आ रहे हैँ। विद्यार्थियों ने आंसर शीट पर न केवल प्रश्नों के उत्तर लिखे हैं, बल्कि एग्जामिनर्स के लिए विभिन्न बातें लिखकर एक विशेष नोट भी साथ भेजा है। कोई विद्यार्थी उत्तरपुस्तिका के साथ नोट लिखकर फेल किए जाने पर सुसाइड करने तक की धमकी दे रहा है तो कोई शादी न होने का डर सता रहा है। विद्यार्थियों द्वारा आंसर शीट में ये सब बातें लिखे जाने को बोर्ड अध्यक्ष ने गलत बताया है। उनकी ये गलती भारी भी पड़ सकती है।

*सामाजिक के पेपर में सबसे ज्यादा मिल रहे केस*

मॉडल टाउन स्थित राजकीय स्कूल में मार्किंग कर रहे एक शिक्षक ने बताया कि ऐसे मामले सबसे अधिक सामाजिक के पेपर में देखने को मिल रहे हैं। विद्यार्थी न केवल सुसाइड करने की धमकी दे देते हैं बल्कि शिक्षकों को काफी कुछ गलत शब्द भी लिख देते हैं। फेल होने पर भाई की शादी में काफी मुश्किल हुई, मेरी दो बहनें हैं। अगर मैं भी फेल हो गया तो मेरी भी शादी नहीं होगी। इसलिए मुझे पास कर दो। यह एक नोट विज्ञान के एक पेपर में 12वीं कक्षा के विद्यार्थी द्वारा लिखा गया।

*विद्यार्थी के खिलाफ बन सकती है यूएमसी*

विद्यार्थी नासमझी में ये गलती कर देते हैं जो उनके लिए काफी भारी पड़ सकती है। यदि कोई विद्यार्थी ऐसा लिखता है तो एग्जामिनर चाहे तो उसके खिलाफ यूएमसी बना सकता है। यह करना गलत है।
बच्चों में एग्जाम को लेकर एक डर बना हुआ है। जिसके कारण वे इस तरह की बातें लिख देते हैं। जोकि गलत है। उन्हें समझाना कि मेहनत व खुद पर विश्वास रखें।'' -डॉ. जगबीर सिंह, अध्यक्ष, हरियाणा विद्यालय शिक्षा बोर्ड, भिवानी।
बच्चों का भविष्य केवल अंकों व पास या फेल पर निर्धारित नहीं है। अंकों से बढ़कर है काबिलियत को निखारना। बच्चों को खुद समझना होगा। अभिभावकों को भी यह समझने की जरूरत है कि वे बच्चों पर पास होने का दबाव न बनाएं।'' -कुलदीप सिहाग, डीईओ, हिसार।

Sunday, November 8, 2020

November 08, 2020

युवाओं को खेलों की तरफ देना चाहिए ध्यान: प्रदीप रेढू

युवाओं को खेलों की तरफ देना चाहिए ध्यान: प्रदीप रेढू 


जींद :  प्राइवेट लोको कॉलोनी में समय का सदुपयोग करते हुए क्रिकेट प्रतियोगिता का आयोजन कराया गया, जिसमें दो अकैडमियों के खिलाड़ियों ने हिस्सा लिया।

क्रिकेट प्रतियोगिता में युवा विकास समिति के प्रदेशाध्यक्ष व जिला पुरस्कार विजेता प्रदीप रेड्डू ईगराह ने मुख्य रूप से शिरकत की।
प्रतियोगिता के आयोजक सौरभ कंसाला ने बताया कि यह प्रतियोगिता सामाजिक कार्यकर्ता व युवा मंडल कंडेला के अध्यक्ष  बिट्टू कंडेला कि अध्यक्षता मे सम्पन्न हुई।
खिलाड़ियों को संबोधित व प्रोत्साहित करते हुए प्रदीप रेढू ने कहा कि युवाओं ने शिक्षा व खेलों की तरफ ध्यान देना चाहिए ताकि युवा नशे की ओर अपना ध्यान न भटकाएं। ऐसी प्रतियोगिताएं प्रत्येक गांव में व प्रत्येक कॉलोनियों में लगातार होनी चाहिए। और कहा कि हमारी समिति का लक्ष्य है नशे के खिलाफ हरियाणा में युवाओं को जागरूक करना व शिक्षा और खेलों को बढ़ावा देना है।

इस दौरान समाजिक कार्यकर्ता बिट्टू कंडेला ने बताया कि नशे पर पूर्ण अंकुश लगाने के लिए नई पीढ़ी को अच्छे संस्कार देने व राज्य में जनजागरण अभियान चलाने की जरूरत है। नशे के शिकार लोगों को मुख्यधारा में लाने के लिए सरकार द्वारा प्रदेश में जहां नशा मुक्ति केंद्र चलाए जा रहे हैं वहीं युवाओं के लिए इस साल प्रत्येक गांव में व प्रत्येक कॉलोनी में व्यायामशालाएं खोली जानी चाहिए और उनके कौशल विकास के लिए हरियाणा कौशल मिशन कार्यक्रम लागू करने चाहिए।
इस बीच कोच मुकेश कुमार, राजकुमार, दीपक राय, अमर सिंह, तुषार भट्ट, नीरज भट्ट, भूपेंद्र कंसाला आदि मौजूद रहे।
November 08, 2020

राज्य सरकार का बड़ा फैसला:मेडिकल कॉलेजों की फीस 20 गुना बढ़ाई, एमबीबीएस के लिए सालाना फीस 54 हजार से बढ़ा 10 लाख रु. की

राज्य सरकार का बड़ा फैसला:मेडिकल कॉलेजों की फीस 20 गुना बढ़ाई, एमबीबीएस के लिए सालाना फीस 54 हजार से बढ़ा 10 लाख रु. की

चंडीगढ़ : प्रदेश में एमबीबीएस के लिए सालाना 10 लाख रु. का बॉन्ड देना होगा। साढ़े 4 साल के कोर्स के लिए कुल 40 लाख बॉन्ड देना होगा। पहले सालाना 54 हजार रु. फीस थी। फीस के लिए सरकार ने लोन की व्यवस्था का प्रावधान भी किया है। एमबीबीएस में यह प्रावधान चालू शैक्षणिक सत्र से ही लागू कर दिया है। पीजी कोर्स के लिए भी फीस तय की गई है। लेकिन यह अगले सत्र यानी 2021-22 से लागू होगी।
इसके लिए नोटिफिकेशन जारी कर दिया है। यह पॉलिसी एनआरआई पर लागू नहीं होगी। सूत्रों का कहना है कि फीस को लेकर किए गए नए प्रावधानों से स्वास्थ्य मंत्री अनिल विज खुश नहीं हैं। बताया गया है कि इस मामले में उनकी सीएम से भी चर्चा हुई थी। प्रदेश के सरकारी मेडिकल कॉलेजों में एमबीबीएस की 800 सीटें हैं।

ऐसे समझिए फीस और बाॅन्ड का गणित

एमबीबीएस: दाखिले के वक्त 10 लाख रुपए का बाॅन्ड देना होगा। इसमें 80 हजार रु. फीस होगी। हर साल फीस में 10% की बढ़ोतरी होगी। दूसरे साल भी 10 लाख का बाॅड देना होगा। जिसमें 88 हजार रु. फीस के होंगे। इसी प्रकार अगले 2 साल भी 10-10 लाख का बाॅन्ड देना होगा। इसमें थर्ड-ईयर की फीस 96,800 रु. व लास्ट ईयर की फीस 1,06,480 रु. होगी।
पीजी कोर्स:* इस साल फर्स्ट ईयर के लिए 1.25 लाख, सेकंड ईयर के लिए 1.50 लाख व थर्ड-ईयर के लिए 1.75 लाख रु. फीस तय की है।

ऐसे चुकाया जाएगा लोन

नौकरी मिलने पर: जो स्टूडेंटस दाखिला लेगा, उसे सरकार अपनी गारंटी पर हर साल 10 लाख रु. का लोन दिलाएगी। यदि सरकारी नौकरी मिली तो उसका भुगतान सरकार खुद करेगी। यदि वह 7 साल से पहले नौकरी छोड़ता है तो उसी तारीख से आगे का बकाया लोन संबंधित को जमा कराना होगा।
*नौकरी नहीं मिलने पर:* जिन्हें नौकरी नहीं मिलेगी, उन्हें पैसा खुद किस्तो में जमा कराना होगा। पढ़ाई के बाद एक साल बाद तक लोन चुकाने से छूट रहेगी। इसके बाद 7 साल में पैसा चुकाना होगा।
November 08, 2020

बदलाव:नए नियम के तहत अब जिले में 128 महिलाएं बनेंगी सरपंच, पंचायत समिति व जिप के वार्ड नहीं हुए फाइनल

बदलाव:नए नियम के तहत अब जिले में 128 महिलाएं बनेंगी सरपंच, पंचायत समिति व जिप के वार्ड नहीं हुए फाइनल

फतेहाबाद : राज्य सरकार द्वारा शुक्रवार को विधानसभा में लाए गए पंचायती राज संशोधन एक्ट के बाद अब जिले की पंचायतों में महिलाओं की भागीदारी 33 फीसदी से बढ़ाकर 50 फीसदी कर दी गई है। जिसके तहत अब जिले की 257 ग्राम पंचायतों में से 128 गांवों मेंं महिलाएं ही सरपंच बनेंगी। ठीक इसी प्रकार 50 फीसदी भागीदारी का यह नियम पंचायत वार्डों, ब्लॉक समिति व जिला परिषद के वार्डों पर भी लागू होगा।
जिले में अभी तक पंचायत समितियों व जिला परिषद के वार्ड फाइनल नहीं हुए हैं। क्योंकि पिछले पांच सालों में जिले में जहां एक नया ब्लॉक बनाया गया हैं वहीं जाखल ग्राम पंचायत अब नगर पालिका बन गई है। नागपुर के नया ब्लॉक बनने व जाखल के नगर पालिका बनने के बाद से जिले में पंचायत समितियों व जिला परिषद के वार्डों में वोटों की एडजस्टमेंट की जानी है। इसके बाद ही तय होगा की उक्त दोनों पंचायती संस्थाओं के कितने वार्ड होंगे।

फतेहाबाद व रतिया के 34 गांवों से बना था नागपुर ब्लॉक

जिले में नागपुर के ब्लॉक बनने के बाद अब ब्लॉकों की संख्या 7 हो गई है। रतिया व फतेहाबाद के मध्य बनाए गए नागपुर ब्लॉक में कुल 34 गांव शामिल किए हुए हैं। इसमें 17 गांव फतेहाबाद तथा 17 गांव रतिया के शामिल हैं। ऐसा होने से अब रतिया, फतेहाबाद व नागपुर तीनों खंडों की पंचायत समितियों के वार्ड दोबारा से तय होने हैं।

पिछले प्लान में 43% थी महिलाओं की भागीदारी

इससे पहले पंचायती राज एक्ट के तहत चुनाव में महिलाओं को 33 फीसदी आरक्षण था। लेकिन ओपन वार्ड या पंचायत में भी महिलाएं चुनाव लड़ सकती थी। जिसके चलते पिछले प्लान 43 फीसदी यानि 110 महिलाएं सरपंच बनी थी।

पांच हजार वोटों पर होती है पंचायत समिति

नागपुर के ब्लॉक बनने व जाखल के पंचायत रहते जिले में कुल 138 पंचायत समितियां व जिला परिषद के 18 वार्ड थे। एक पंचायत समिति वार्ड 4 से 5 हजार वोटों पर बनाया जाता है। वार्ड बनाने का यह कार्य पंचायत विभाग के मुख्यालय फाइनल होता है कि कितने वार्ड बनाए जाने हैं।

मुख्यालय को भेजी है रिपोर्ट: डीडीपीओ

नागपुर के नया ब्लॉक बनने व जाखल नगर पालिका बनने के बाद अब पंचायत समितियों व जिला परिषद के वार्डों में संशोधन किया जाना है। इसकी रिपोर्ट तैयार कर अनुमति के लिए मुख्यालय को भेजी हुई है। जल्द ही नए वार्ड बन जाएंगे।- बलजीत चहल, डीडीपीओ।

Saturday, November 7, 2020

November 07, 2020

युवा कौशल विकास योजना सैंटर

*📖युवा कौशल विकास योजना सैंटर🖥️* 
*🖥️कोर्स : 1 साल* 
*📑दाखिला : ऑपन* 
*🪑सीट : लिमिटिड*
*पहले आए🕺🏻और अपनी सीट रीसर्व करवाए📝* 
👇🏻👇🏻👇🏻👇🏻👇🏻👇🏻👇🏻
*स्कूल,कॉलेज या हो करियर* 
*जो कंप्यूटर सीखेगा, वहीं दुनिया जीतेगा!*  
👍🏻👍🏻👍🏻👍🏻👍🏻👍🏻👍🏻
 *जींद शिक्षा सहयोग समिति(रजि.* 
*🏤पता : रामराये गेट नजदीक दखनिया मंदिर जींद-126102(हरि.)* 
*📞संपर्क सूत्र : 7777021102,7777012201*
*☎️हेल्पलाइन : 7777052205*

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Friday, November 6, 2020

November 06, 2020

रीजनल इंस्पेक्टर के पदों पर निकली भर्ती, जल्द करें आवेदन

रीजनल इंस्पेक्टर के पदों पर निकली भर्ती, जल्द करें आवेदन

चंडीगढ़ : युवाओं के लिए खुशखबरी है खास कर उन युवाओं के लिए जो पुलिस लाइन में जाने की तैयारी कर रहे थे। दरअसल रीजनल इंस्पेक्टर के पदों पर भर्ती निकली है। आप भी आवेदन कर सकते है। बतादे कि उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग ने क्षेत्रीय निरीक्षक के 28 पदों को भरने के लिए एक भर्ती अधिसूचना जारी की है। इन पदों पर पात्र उम्मीदवार 03.11.2020 से 28.11.2020 तक ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं। यहां जारी क्षेत्रीय निरीक्षक (तकनीकी) के पदों की कुल संख्या 28 है। इन पदों पर आवेदन करने के लिए आवेदक की जन्म 02.07.1980 से पहले और 01.07.1999 के बाद का नहीं होना चाहिए। गौरतलब है कि आवेदन करने के बाद आवेदक का चयन लिखित परीक्षा और साक्षात्कार में प्रदर्शन के आधार पर होगा। जिसके बाद चयनित उम्मीदवारों को 44900 – 142,400 वेतनमान देय है। इन पदों के लिए आवेदन प्रक्रिया 03.11.2020 से 28.11.2020 तक होगी, साथ ही अंतिम प्रविष्टि की समाप्ति तिथि 03.12.2020 है। दरअसल इन पदों पर आवेदन करने के लिए योग्यता ऑटोमोबाइल इंजीनियरिंग / मैकेनिकल इंजीनियरिंग में तीन साल का डिप्लोमा और एक साल का अनुभव होना चाहिए। आवेदन करने के लिए आवेदक से आवेदन शुल्क 225 रूपए जनरल / ओबीसी / ईडब्ल्यूएस उम्मीदवारों के लिए, 105 रूपए एससी / एसटी / ईएसएम उम्मीदवारों के लिए और 25 रूपए पीडब्ल्यूडी उम्मीदवारों के लिए देय है।
November 06, 2020

देश में पहली बार:हरियाणा में प्राइवेट नौकरियों में स्थानीय लोगों को 75% आरक्षण मिलेगा, विधेयक में फायदे के साथ कानूनी झोल भी

देश में पहली बार:हरियाणा में प्राइवेट नौकरियों में स्थानीय लोगों को 75% आरक्षण मिलेगा, विधेयक में फायदे के साथ कानूनी झोल भी

चंडीगढ़ : हरियाणा विधानसभा ने प्राइवेट सेक्टर में 75% नौकरियां हरियाणा के मूल निवासियों के लिए आरक्षित करने का प्रस्ताव पास किया है। देश में पहली बार प्राइवेट सेक्टर में आरक्षण देने का प्रस्ताव पास किया गया है। हरियाणा विधानसभा ने इस प्रस्ताव को सर्वसम्मति से पास किया है, लेकिन जानकारों का मानना है कि इस विधेयक में सहूलियत के साथ कुछ झोल भी हैं।
इस प्रस्ताव में तमाम कानूनी अड़चन आ सकती है। हरियाणा में काम कर रहीं कंपनियां इसके खिलाफ कोर्ट जाएंगी तो कोर्ट इस पर रोक लगा सकती है। डिप्टी सीएम दुष्यंत चौटाला ने बिल पास होने के बाद पत्रकारों से कहा कि हरियाणा के युवाओं के लिए आज ऐतिहासिक दिन है।
उन्होंने कहा कि अब भविष्य में हरियाणा में जो भी नई फैक्ट्रियां अथवा पहले स्थापित कंपनी में नई भर्तियां होंगी, उसमें हरियाणा के युवाओं की 75% नियुक्तियां जरूरी होंगी। बता दें, जजपा ने चुनाव घोषणा पत्र में हरियाणा के लोगों को आरक्षण का वादा किया था।

अभी बाहरियों की नौकरी नहीं जाएगी

डिप्टी सीएम ने स्पष्ट किया कि प्राइवेट सेक्टर में कार्यरत किसी भी कर्मचारी को हटाया नहीं जाएगा। आगे होने वाली नियुक्तियां इसी नियम से होंगी।

हरियाणा के इन लोगों को मिलेगा फायदा

हरियाणा सरकार का यह विधेयक 50 हजार रुपए मासिक सैलरी तक ही लागू होगा। इससे ज्यादा वेतन वालों पर इसका असर नहीं होगा। इसका लाभ लेने के लिए हरियाणा का निवास प्रमाणपत्र होना जरूरी होगा। साथ ही जिस पद के लिए वह आवेदन कर रहे हैं, उससे संबंधित योग्यता भी पूरी करनी होगी।

ये कंपनियां आएंगी जद में

राज्य में चल रही उन कंपनियों, सोसाइटी, ट्रस्ट, फर्म पर यह नियम लागू होगा, जिनमें 10 से ज्यादा कर्मचारी हैं। सभी कंपनियों को 3 महीने में सरकार के पोर्टल पर बताना होगा कि उनके यहां 50 हजार तक की तनख्वाह वाले कितने पद हैं और इन पर काम करने वाले कितने लोग हरियाणा के निवासी हैं।
डाटा अपलोड करने तक कंपनियां नए लोगों को नौकरी पर नहीं रख सकती। प्रस्ताव में यह प्रावधान भी है कि कंपनी प्रबंधन चाहे तो एक जिले से 10% से ज्यादा कर्मचारी रखने पर रोक लगा सकते हैं। हर कंपनी को हर तीन महीने में इस कानून को लागू करने की स्टेटस रिपोर्ट सरकार को देनी होगी।
*नियम तोड़ने पर जुर्माना और सब्सिडी रद्द होगी*
कानून का पालन ना करने वाली कम्पनियों पर इस बिल के प्रावधानों के तहत कार्रवाई होगी। इसमें अर्थदंड और सब्सिडी रद्द की जा सकती है। यह कानून अगले 10 साल तक लागू रहेगा।

विधेयक में यह झोल भी है

विधेयक के अनुसार- किसी पद के लिए स्किल्ड कर्मचारी ना मिलने पर आरक्षण कानून में छूट दी जा सकती है। इस बारे में निर्णय जिला उपायुक्त या उससे उच्च स्तर के अधिकारी लेंगे। SDM या इससे उच्च स्तर के अधिकारी कानून लागू कराने की जांच के लिए डाटा ले सकेंगे और कंपनी परिसर में भी जा सकेंगे। इसमें झोल यह है कि कंपनी प्रबंधन अफसरों से मिलीभगत करके स्किल्ड आवेदक न मिलने का बहाना करके गैर हरियाणवियों को जॉब दे सकती है।

गुरुग्राम-फरीदाबाद में क्या होगा

हरियाणा के गुरुग्राम, फरीदाबाद जैसे दिल्ली से लगे जिलों में कई मल्टीनेशनल कंपनियों के प्लांट हैं। इनमें देश-दुनिया के लाखों लोग नौकरी करते हैं। इस विधेयक से सबसे ज्यादा फर्क इन कंपनियों पर पड़ेगा। यह इलाके हरियाणा का हिस्सा होने के साथ-साथ दिल्ली-एनसीआर का भी अंग हैं। ऐसे में यहां यह नियम हरियाणा सरकार कैसे लागू कराएगी, यह भी बड़ा सवाल है।

Tuesday, November 3, 2020

November 03, 2020

स्कूल खोले गए:राजकीय स्कूलों में 25 प्रतिशत विद्यार्थी पहुंचे कक्षा लगाने, निजी स्कूल नहीं खुले

स्कूल खोले गए:राजकीय स्कूलों में 25 प्रतिशत विद्यार्थी पहुंचे कक्षा लगाने, निजी स्कूल नहीं खुले

करनाल : *केंद्र की गाइडलाइन के अनुसार* सोमवार को 9वीं से 12वीं कक्षा तक स्कूल खोले गए। लेकिन राजकीय स्कूल में ही 20 से 25 प्रतिशत ही विद्यार्थी अाए। कोचिंग सेंटरों पर भी विद्यार्थियों की संख्या काफी कम रही। विद्यार्थियों का अभी शिक्षण संस्थानों में कम आने का मुख्य कारण दिवाली के त्योहार नजदीक आना है। इसके अलावा अभी लोगों में काेरोना का डर बना हुआ है।
इसलिए अभिभावक बच्चों को भेजने में डरे हुए हैं। कोरोना के इस दौर में विद्यार्थी की पढ़ाई ऑनलाइन चल रही है। विद्यार्थियों को घर बैठे ही ऑनलाइन शिक्षा प्राइवेट व सरकारी स्कूलों द्वारा भेजी जा रही है। कोरोना के चलते कई माह बाद रेलवे रोड पर राजकीय आदर्श कन्या वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय में छात्राएं स्कूलों में पहुंचीं। छात्रा स्वाती, नेहा व अंजलि ने बताया कि अभिभावक की सहमति से स्कूल में प्रवेश किया है सोशल डिस्टेसिंग व मास्क का ध्यान रखकर अपनी पढ़ाई को पूरा करेंगे। स्कूल के प्रिंसिपल मोहिंद्र सिंह नरवाल ने बताया कि स्कूलों में उनी विद्यार्थियों की एंट्री की जा रही है जो लिखित में अभिभावकों से स्कूल आने की सहमति दी गई है। वहीं, प्राइवेट स्कूल नहीं खुले।

*कॉलेजों में 15 नवंबर तक ऑनलाइन ही चलेगी कक्षाएं*

दयाल सिंह कॉलेज के प्रिंसिपल डॉ. चंद्रशेखर भारद्वाज ने बताया कि कॉलेजों और यूनिवर्सिटी को खोलने के लिए उच्चतर शिक्षा विभाग ने सोमवार को पत्र जारी कर दिया है। जिसके अनुसार अभी कॉलेजों में आॉनलाइन पढ़ाई शुरू करनी होगी। 16 नवंबर से कॉलेज भी खोले जा सकते है।

*कॉलेजों व विद्यार्थी इन बातों का रखेगें विशेष ध्यान*

कॉलेजों में विद्यार्थी इन बातों का रखेगें विशेष ध्यान सभी छात्र और कर्मचारी एक चेहरा पहने हुए कॉलेजों में पहुंचने के लिए मास्क पहनना अनिवार्य होगा। खासकर जब कक्षा में, या समूहों में कोई भी गतिविधि करना, प्रयोगशालाओं में या पुस्तकालयों में पढ़ना। छात्रों को यह सुनिश्चित करना और जागरुक करना कि वे दूसरों के मास्क को आदान-प्रदान न करे। इसके अलावा अन्य सावाधानियां बरतने की जरूरत है।

बसताड़ा के महिला कॉलेज में पांच नवंबर तक चलेगी दाखिला प्रक्रिया

जीटी रोड बसताड़ा स्थित महिला कॉलेज में दाखिला प्रक्रिया जारी है। छात्राएं कॉलेज पहुंचकर दाखिला ले रही हैं। कॉलेज प्रबंधन के मुताबिक, पिछले सत्र के मुकाबले इस बार दाखिलों की संख्या में इजाफा हुआ है। छात्राएं आने वाली पांच नवंबर तक प्रवेश ले सकती हैं। एडमिशन लेने के लिए छात्राओं को कॉलेज में आना होगा। जहां पर उनके शैक्षणिक दस्तावेज चेक किए जाएंगे। बसताड़ा में महिला कॉलेज बनने के बाद आसपास के ग्रामीण क्षेत्रों की बेटियां का रूझान कॉलेज की ओर बढ़ा है। कॉलेज के कार्यकारी प्रिंसिपल नरेश कुमार ने बताया कि छात्राओं की संख्या भी पिछले साल के मुकाबले पचास प्रतिशत बढ़ी है। कॉलेज प्रबंधन से प्राप्त आंकड़ों के मुताबिक, अब तक लगभग 100 से ज्यादा छात्राओं ने विभिन्न स्ट्रीम में एडमिशन लिया है। बीए में 65 छात्राओं, बीकॉम में 30 तथा बीएससी प्रथम वर्ष में 10 छात्राओं के एडमिशन हो चुके हैं।

Sunday, October 25, 2020

October 25, 2020

आधुनिकरण की दौड़ में हम भूलते जा रहे हैं पौराणिक परम्पराओं को - गौतम सत्याराज

 सांझी को दिखा आमजन को करवाया लोक संस्कृति से अवगत,आधुनिकरण की दौड़ में हम भूलते जा रहे हैं पौराणिक परम्पराओं को-गौतम सत्यराज

जींद :( संजय तिरँगाधारी ) ग्रामीण अंचल में लोककला और संस्कृति से लोगों को जागरूक करने के लिए चल रहे  साप्ताहिक कार्यक्रम का आज समापन हुआ |  कार्यक्रम के आयोजक व संयोजक गांव ढिगाना निवासी गौतम सत्याराज रहे। इस सांझी कार्यक्रम में पुराने समय की लोक संस्कृति को दिखाने का प्रयास किया जिसमें पुरानी समय के बर्तन, घड़े ताली, आटा चक्की, दही निकालने की रई आदि का प्रदर्शन किया गया।

 कार्यक्रम के आयोजक व संयोजक गौतम सत्याराज ने बताया कि  ग्रामीण आंचल में स्त्रियां अपने घर आंगन की दिवारों पर सांझी के परंपरागत भित्ति चित्रों की रचना करती हैं । सांझी का अर्थ सांझ सांय अथवा अर्चना से है। नवरात्रों के दौरान सांयकाल को भक्ति गीतों के साथ पूजा अर्चना करके भोग लगाया जाता हैं। घर को अनिष्ठ से बचाने के लिए और सौभाग्य अर्जन की मंशा से स्त्रियां इसे एक कृति का रूप देती हैं। मां गौरी देवी की मान्यता भी इस संध्या सांझी से जुड़ी हैं। कुंवारी कन्याओं द्वारा मनाए जाने वाले अनुष्ठानिक व्रत को हरियाणा में ही नही बल्कि समूचे उत्तरी भारत में इनकी मान्यता है, लेकिन हरियाणा प्रांत में इसकी छटा निराली होती है। हरियाणा में अश्विन मास के शुक्ल पक्ष से दसंवी तक सांझी की पूजा होती है। घर के आंगन की दीवार पर सांझी को बनाया जाता हैं। सांझी के सभी अंगों को बनाकर उन्हे दीवार पर उकेरी गई गोबर खडिया मिट्टी से जोड़ दिया जाता है। दस दिन तक कन्याएं इसकी पूजा करती हैं और विजय दशमी यानि दशहरे के दिन इसका समापन उत्सव मनाया जाता है और सांझी को दीवार से उतारकर पानी में विसर्जित किया जाता है । सांझी विसर्जन का दृश्य रोमांचक होता है । बालाएं गीत गाती हुई सांझी को जोहड़ नदी या तालाब पर ले जाती हैं। 

आपको बता दे कि गौतम सत्याराज काफी समय से लोककला संस्कृति को प्रदर्शित करने में लगे हुए और पुरानी कला के अवशेषों को सहेजने का काम करने में लगे हुए हैं । अबकी बार इस कार्यक्रम में दीवार पर कोविड का मंत्र दिया गया जिसमें दो गज की दूरी के साथ मास्क लगाने का संदेश भी दिया जा रहा है। इसके अलावा दीवारों पर हरियाणवी लोककला को दिखाने के लिए पेंटिंग बनाई गई है। यह कार्यक्रम उन्होंने अपने पुराने घर में किया है जहां पर उन्होंने घर को लोककलां का म्यूजिमय बना दिया है। अब हर कोई सांझी कलां के साथ पुरानी लोककलां को देखने के लिए ढिगाना गांव में आ रहे हैं।

 इस अवसर पर आज गांव ढिगाना में ब्लू ओशियन फाउंडेशन द्वारा सांझी पूजन कार्यक्रम का आयोजन किया गया। जिसमे संस्था के फाउंडर नरेश कालीरमन, जिला प्रधान राजीव यादव, मुकेश, राकेश सरीन आदि भी शामिल हुए। 

Sunday, October 18, 2020

October 18, 2020

राफेल के दूसरे बैच लाने की तैयारी:राफेल का दूसरा बैच भी अम्बाला एयरबेस आएगा, नवंबर के पहले सप्ताह में आ सकते हैं 3-4 विमान

राफेल के दूसरे बैच लाने की तैयारी:राफेल का दूसरा बैच भी अम्बाला एयरबेस आएगा, नवंबर के पहले सप्ताह में आ सकते हैं 3-4 विमान

अम्बाला : लद्दाख में वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) पर चीन से तनातनी के बीच राफेल विमानों का दूसरा बैच भी अम्बाला एयरफोर्स स्टेशन में लाने की तैयारियां चल रही हैं। यहां 3-4 विमानों का बैच नवंबर के पहले सप्ताह में पहुंच सकता है। रक्षा सूत्रों के अनुसार, अम्बाला से चीन को बेहतर तरीके से काउंटर किया जा सकता है। यहां से एलएसी तक राफेल महज 15-20 मिनट में पहुंच सकता है।
अम्बाला एयरबेस में राफेल विमानों का पूरा ढांचा तैयार हो चुका है। राफेल विमानों की सबसे पहले गठित की गई 17 गोल्डन एरो स्क्वाड्रन के कुछ पायलट अभी भी फ्रांस में हैं, जिनकी ट्रेनिंग पूरी हो चुकी है। ये पायलट ही राफेल विमानों के दूसरे बैच की अम्बाला एयरफोर्स स्टेशन पर लैंडिंग कराएंगे। अम्बाला में 29 जुलाई को 5 विमान का पहला बैच आ चुका है।

दिन-रात चल रहा अभ्यास

चीन से तनाव के बीच अम्बाला एयरफोर्स स्टेशन से राफेल विमान लगातार उड़ान भर रहे हैं। राफेल​​​​​​​ विमानों के साथ एयरफोर्स द्वारा नाइट फ्लाइंग भी की जा रही है।

Sunday, October 11, 2020

October 11, 2020

पुरानी पैंशन बहाली के लिए लामबंद हुए जींद के कर्मचारी

पुरानी पैंशन बहाली के लिए लामबंद हुए जींद के कर्मचारी

 जींद : ( संजय तिरँगाधारी ) पैंशन बहाली संघर्ष समिति हरियाणा की *जिला जींद की मीटिंग रोडवेज मंदिर परिसर जींद में संपन्न हुई । मीटिंग की अध्यक्षता पी बी एस एस की महिला विंग की कार्यकारी प्रधान श्रीमती राजबाला PGT ने की तथा मंच संचालन जींद ब्लॉक अध्यक्ष देवीलाल सहारन ने किया। मीटिंग में राज्य कार्यकारिणी से वरिष्ठ उपाध्यक्ष अनूप लाठर व सोनीपत जिला कार्यकारिणी से सुमित रंगा ने मुख्य रूप से शिरकत की। मीटिंग का मुख्य एजेंडा आगामी 01 नवंबर को पुरानी पैंशन बहाली के लिए गोहाना में होने वाले पैंशन अधिकार दिवस में जींद जिले की ज्यादा से ज्यादा भागीदारी सुनिश्चित करना, अब तक किए गए आंदोलनों का विश्लेषण और जिला जींद की महिला विंग के गठन बारे विचार विमर्श करना था*। मीटिंग को संबोधित करते हुए जिला जींद संयोजक सुरेन्द्र मान, कैशियर सुनील झांझ, उपप्रधान जोगेंद्र नेहरा,    राधेश्याम शर्मा ने कहा कि आगामी एक नवंबर को गोहाना में जींद जिले से सेंकड़ों कर्मचारी अपनी पुरानी पेंशन बहाली के लिए एकजुट होंगें। जिसके लिए सभी विभागों के कर्मचारी एकजुट हो चुके हैं और पुरानी पैंशन बहाली तक संघर्ष करते रहेंगे। *राज्य वरिष्ठ उपाध्यक्ष अनूप लाठर ने कहा कि ये राजनेता राजनीति में अपनी पकड़ होने के कारण जनता के पैसे को गलत प्रयोग में लाते हुए अपनी तीन तीन - चार चार पेंशन ले रहे हैं जबकि कर्मचारी अपनी जिंदगी के जवानी के अहम 25-30 वर्ष जनता और विभाग की सेवा में लगाता है और फिर भी बुढ़ापे में पेंशन ना मिलने के कारण धक्के खाने को मजबुर होंगे। इसलिए हम नेताओ को खुली चुनौती देते हैं कि अब इतनी आसानी से हम इन राजनेताओं को भी जनता के पैसे से पेंशन नहीं लेने देंगे। बिजली विभाग से सुरेन्द्र जागलान और पी डब्लू डी से सुरेन्द्र ढूल ने कहा कि अब तमाम विभागों के कर्मचारी एकजुट होकर गोहाना के प्रदर्शन के बाद प्रदेश में एक बहुत बड़ा आंदोलन करेंगे जिसकी घोषणा गोहाना में कर दी जाएगी , जिसकी पूरी जिम्मेदारी हरियाणा सरकार की होगी क्योंकि कर्मचारी बहुत बार धरने/ प्रदर्शनों और रेलियों से सरकार से अपने मान सम्मान के लिए पेंशन की मांग कर चुके हैं लेकिन सरकार अपनी हठधर्मिता को छोड़ कर्मचारियों की मांग को पूरा नहीं कर रही*। मीटिंग में श्रीमती राजबाला कौशिक PGT को सर्वसम्मति से जिला जींद की महिला की कार्यकारी अध्यक्ष चुना गया और जल्द ही महिला विंग का  विस्तार करने का फैसला लिया गया। आज की बैठक में मुख्य रूप से श्रीमती सीता राठी जेबीटी , अनुराधा गुप्ता पीजीटी, नरेश बिरोली, सुरेन्द्र अहलावत, राजेश लाठर, रविन्द्र सिंधु, ओम प्रकाश नगुरा, सतीश नगूरा, देवेन्द्र पिल्लुखेड़ा, राजकुमार रधाना, मनदीप इगराह, पवन ढांडा, राजकुमार मोर, राजेश, हरीश, विजय शर्मा, मनोज जुलानी, पवन मलिक, राजेश पठान आदि ने भाग लिया।
October 11, 2020

कामकाजी महिलाओं के लिए खुशखबरी, 500 क्रेच खोले जाएंगे

कामकाजी महिलाओं के लिए खुशखबरी, 500 क्रेच खोले जाएंगे

चण्डीगढ़ : हरियाणा की महिला एवं बाल विकास मंत्री कमलेश ढांडा  ने कहा कि प्रदेश में कामकाजी महिलाओं की आवश्यकताओं को ध्यान में रखते हुए 500 क्रेच केन्द्र खोले जाएंगे। आज यहां जारी एक वक्तव्य में उन्होंने बताया कि यह योजना दो चरणों में पूरी की जाएगी, जिसके तहत प्रथम चरण में पहले से ही चल रहे 182 क्रेच केन्द्रों को सुदृढ़ व मूलभुत सुविधाएं प्रदान कर बेहतर तरीके से चलाने की योजना है।
इसी प्रकार, दूसरे चरण में शेष 318 नए क्रेच केन्द्र कामकाजी महिलाओं की आवश्यकता को ध्यान में रखते हुए ऐसे स्थानों पर खोले जाएंगे, जहां पर ज्यादा संख्या में महिलाएं कार्य करती हैं। उन्होंने बताया कि क्रेच केन्द्रों के प्रशिक्षण, पाठय सामग्री तथा बेहतर संचालन के लिए भी समझौता भी किया जाएगा।

उन्होंने यह भी बताया कि प्रदेश अभी कोविड-19 संक्रमण काल से गुजर रहा है जिसके चलते सभी आंगनवाड़ी केन्द्र  बंद हैं तथा बच्चे इन केन्द्रों में आने में असमर्थ हैं। बच्चों के लिए आवंटित पूरक पोषण उनके घरों में उपलब्ध करवाया जा रहा है।
परंतु आंगनवाड़ी केन्द्रों के बंद होने के कारण बच्चों के लिए निर्धारित स्कूल पूर्व शिक्षा प्रभावित हुई हैं। इसी के मदेनजर विभाग ने निर्णय लिया है कि 3 से 6 साल तक के बच्चों के लिए विशेष वर्कशीट, विभिन्न प्रकार के रंग व अन्य सामग्री उनके घरों में ही उपलब्ध करवाई जाएगी।
मंत्री ढांडा ने बताया कि प्रत्येक आंगनवाड़ी कार्यकर्ता उसके अधीन क्षेत्र में समय-समय पर बच्चों द्वारा इन वर्कशीटों पर किए कार्य का मूल्यांकन करेगी तथा उनके अभिभावकों को इस संबंध में जानकारी देगी ताकि वे घरों में बच्चों की अनौपचारिक शिक्षा पर ध्यान दें सकें।

Friday, October 9, 2020

October 09, 2020

विवाद:112 मॉडल संस्कृति स्कूलों में हरियाणा बोर्ड की जगह सीबीएसई से मान्यता लेने का शिक्षक संगठनों ने जताया

विवाद:112 मॉडल संस्कृति स्कूलों में हरियाणा बोर्ड की जगह सीबीएसई से मान्यता लेने का शिक्षक संगठनों ने जताया विरोध, 11 अक्टूबर को जींद में शिक्षक संगठनों के पदाधिकारी बनाएंगे रणनीति

रोहतक :  प्रदेश में खाेले जा रहे 112 राजकीय माॅडल संस्कृति सीनियर सेकंडरी स्कूल खाेलने पर विवाद गहराने लगा है। पहली से 12वीं कक्षा के इन सरकारी स्कूलाें में अंग्रेजी माध्यम से पढ़ाई हाेगी। प्रदेश सरकार इन स्कूलों को हरियाणा बोर्ड की जगह सीबीएसई से मान्यता लेना चाहती है। इस पर सबसे ज्यादा विवाद है। शिक्षक संगठनों का विरोध है कि सरकार हरियाणा बोर्ड को कमजोर साबित करके स्कूलों को निजीकरण की राह पर धकेल रही है, जबकि विभागीय अधिकारियों का तर्क है कि सीबीएसई बोर्ड में नंबर ज्यादा आते हैं। अभिभावकों को सरकारी स्कूलों की ओर लुभाने के लिए सीबीएसई से मान्यता ली जा रही है।
हरियाणा के छात्रों को आगे आती हैं दिक्कतें (नंद किशोर, असिस्टेंट डायरेक्टर, एकेडमिक सेल, स्कूल शिक्षा निदेशालय)

सीबीएसई 10वीं-12वीं कक्षा के परीक्षार्थियों को खुलकर नंबर देता है, जबकि एचबीएसई की मार्किंग सख्त है। अभिभावकों का भी मानना है कि एचबीएसई की तुलना में सीबीएसई में नंबर अच्छे आते हैं।

एचबीएसई बोर्ड से पढ़े हुए विद्यार्थी को राष्ट्रीय शिक्षण संस्थानों में दाखिला लेने के दौरान दिक्कत आती है, क्योंकि बमुश्किल ही 90 फीसदी अंक वह ले पाते हैं, जबकि सीबीएसई में 95 फीसदी से अधिक अंक लेने वाले विद्यार्थियों की संख्या ज्यादा रहती है।

अभिभावक को बच्चे के लिए सीबीएसई का ही सर्टिफिकेट चाहिए तो उसे इसके लिए लाखों रुपए की फीस निजी स्कूलाें में देनी होती है, जबकि सीबीएसई से मान्यता लेने वाले राजकीय मॉडल संस्कृति स्कूल में नाममात्र की फीस देकर यह सर्टिफिकेट ले सकता है।

फर्क सिर्फ एनसीईआरटी व हरियाणा बोर्ड लिखने का (जगबीर सिंह, हरियाणा बोर्ड चेयरमैन ने असिस्टेंट डायरेक्टर)

पेपरों की मार्किंग हरियाणा बोर्ड नहीं करता। यह शिक्षा विभाग के अध्यापक ही करते हैं। काफी बच्चों के 99 से लेकर 100 प्रतिशत तक नंबर आते हैं। ऐसा नहीं है कि हरियाणा बोर्ड में नंबर कम आते हैं।

एचबीएसई में 9वीं से 12वीं कक्षा का जो पाठ्यक्रम है, वह सीबीएसई के पाठ्यक्रम की तर्ज पर ही है। इन्हीं में से प्रतियोगी परीक्षाओं का प्रश्न पत्र आता है। फर्क बस इतना है कि एनसीईआरटी की जगह हरियाणा बोर्ड लिखा होता है।

अभिभावकों को समझना होगा कि हरियाणा बोर्ड में कोई कमी नहीं है। यहां मुफ्त और अच्छी शिक्षा मिलती है। बुधवार को सुपर-100 के जिन 25 विद्यार्थियों को मुख्यमंत्री ने सम्मानित किया है, वह सभी हरियाणा बोर्ड के सरकारी स्कूलों से ही पढ़े हैं।

सरकार अपने ही बोर्ड से संतुष्ट क्यों नहीं : बिजेंद्र
संस्कृति मॉडल स्कूलों से पहले भी प्रत्येक जिले में एक-एक मॉडल संस्कृति स्कूल चल रहा है, जो एचबीएसई से संबंद्ध है। इनमें हिंदी-इंग्लिश मीडियम दोनों हैं। प्रदेश के पास खुद का बोर्ड है तो सीबीएसई से मान्यता की जरूरत क्या है। इसका मतलब सरकार अपने ही बोर्ड से संतुष्ट नहीं है। - बिजेंद्र हुड्‌डा, प्रदेशाध्यक्ष, हरियाणा स्कूल एजुकेशन ऑफिसर्स एसोसिएशन।

Thursday, October 8, 2020

October 08, 2020

स्कूलों के लिए राहत की खबर:20 दिन में निपटाई जाएंगी प्राइवेट स्कूलों की पेंडिंग फाइल, निदेशालय ने जारी किया आदेश

स्कूलों के लिए राहत की खबर:20 दिन में निपटाई जाएंगी प्राइवेट स्कूलों की पेंडिंग फाइल, निदेशालय ने जारी किया आदेश

चंडीगढ़ : उन प्राइवेट स्कूलों के लिए राहत की खबर है, जिनके मान्यता, परमिशन और एनओसी की फाइलें शिक्षा विभाग में अटकी हैं। अब निदेशालय ने सभी जिला शिक्षा अधिकारियों का सख्त लहजे में प्राइवेट स्कूलों की सभी पेंडिंग फाइलों को 20 दिन में निपटाने के लिए कहा है। साथ ही इसकी रिपोर्ट भी मांगी है। ऐसे में स्कूलों को भी राहत मिलेगी। प्राइवेट स्कूल संगठन कई बार फाइलों के आगे न बढ़ने का मामला कई बार उठा चुके हैं।
कुछ दिन पहले ही निदेशक की अध्यक्षता में प्राइवेट स्कूलों के मामलों को लेकर मीटिंग भी हुई थी, जिसमें भी इन मामलों पर गहनता से मंथन किया गया था। आदेशों में कहा गया है कि सभी कार्य ऑनलाइन ही किया जाएगा। सभी फाइलें मैन्युअली की बजाए ऑनलाइन ही आगे बढ़ाई जाए। इससे कोई कर्मचारी या अधिकारी फाइल भी नहीं रोक पाएंगे। जहां भी फाइल रुकेगी, उसकी जानकारी निदेशालय को मिल जाएगी।
अधिकारियों को स्कूल इंस्पेक्शन की फाइलें भी ऑन लाइन ही भेजनी होगी। निदेशालय की ओर प्राइवे स्कूलों में मैनजर या मालिकों के निदेशालय और जिला शिक्षा अधिकारियों के कार्यालयों में जाने पर भी रोक लगा दी है। आदेशों में कहा गया है कि कोई भी मैनेजर या मालिक प्राइवेट स्कूल से संबंधित कार्य के लिए ऑन लाइन ही एप्लाई करेगा।

2007 से पहले से चल रहे स्कूल एग्जिस्टिंग स्कूलों में हों शामिल: फैडरेशन

फैडरेशन ऑफ प्राइवेट स्कूल्स वेलफेयर एसोसिएशन के प्रदेशाध्यक्ष कुलभूषण शर्मा ने कहा कि राज्य 2007 से पूर्व से चल रहे प्राइवेट स्कूलों को तुरंत एग्जिस्टिंग स्कूलों की लिस्ट में शामिल करें । साथ ही भूमि मानक और अन्य शर्तों में राहत देकर जल्द मान्यता दें ताकि ऐसे स्कूल भी शिक्षा की मुख्यधारा में शामिल हो। सरकार ने दो बार एग्जिस्टिंग स्कूलों की सूची भी जारी की परंतु विभागीय अधिकारियों की कमी के कारण सैकड़ों स्कूल अनेक स्कूल सूची में शामिल नहीं हो पाए।
October 08, 2020

हरियाणा में 15 अक्टूबर से 6वीं से लेकर 10वीं तक स्कूल खोलने की तैयारी

हरियाणा  में 15 अक्टूबर से 6वीं से लेकर 10वीं तक स्कूल खोलने की तैयारी

चंडीगढ़ : केंद्र की ओर से अनलाक के तहत 15 अक्टूबर से शिक्षण संस्थाओं  को खोलने के लिए जारी एडवाइजरी को लेकर राज्य के शिक्षा मंत्री कंवरपाल गुर्जर  का कहना है कि अभिभावकों की सहमति के साथ में फिलहाल दसवीं से बारहवीं के विद्यार्थियों  को शिक्षक लगातार गाइड कर रहे हैं। विषयों को लेकर उनकी समस्याओं  का समाधान भी कर रहे हैं, इसी तर्ज पर अब केंद्र की एसओपी आ जाने के बाद छठी से लेकर दसवीं तक की क्लासों को 15 के बाद में सशर्त संचालित करने पर विचार किया जा रहा है।
शिक्षा मंत्री कंवरपाल सिंह ने बुधवार को चंडीगढ़ में सवाल के जवाब में इस आशय की जानकारी दी। मंत्री ने यह भी कहा कि जल्द ही वे राज्य शिक्षा विभाग के आला अफसरों के साथ में नई गाइड लाइन को लेकर विचार मंथन करेंगे और 15 के बाद छठी से दसवीं तक की क्लास भी कोविड की सावधानी को ध्यान में रखते हुए खोलने पर विचार कर रहे हैं। सबसे बाद में पहले से लेकर पांचवीं तक की क्लासों को खोलने का विचार है। राज्य की ओर से पंद्रह से पहले इस संबंध में सही स्थिति से अवगत करा दिया जाएगा।
निजी स्कूलों को लेकर शिक्षा मंत्री कंवर पाल गुर्जर का कहना है, ट्यूशन फीस की बात हमने पहले कही थी लेकिन स्कूल संचालक इसे लेकर कोर्ट में चले गए थे कोर्ट में जो निर्णय दिया था उसके तहत फीस ली गई थी स्कूलों के निश्चित खर्चों के बारे में कोर्ट का भी यह आदेश था कि जब बसें नहीं चलाई, तो फिर पैसे किस बात के लिए ट्रांसपोर्ट मिनिस्टर से बातचीत में भी टैक्स छोड़ने की बात कही गई थी लेकिन इसके बावजूद भी अगर कोई विषय है तो वह स्कूल संचालक हमसे मिलकर रखेंगे तो समाधान किया जाएगा।